मेरे बस में नहीं वरना कुदरत का लिखा काटता, तेरे हिस्से में आए बुरे दिन कोई और काटता, तेरे होते हुए मोमबत्ती बुझाई किसी और ने, क्या खुशी रह गई जन्मदिन का, मै केक क्या खाक काटता, कोई भी तो नहीं जो मेरे भूखे रहने पर नाराज हो, अगर जेल में तेरी तस्वीर होती तो हंस के सजा काटता अगर जेल तस्वीर होती तेरी