दुनियां से ही सीखा हमने, क्या है दुनियां दारी। जब तक मतलब, तब तक रिश्ते, फिर टूटी वो यारी। प्यार, वफ़ा, वादे सब झूठे, बेच दिया ईमान। लगा मुखौटा इज्जत का, दिखलाते झूँठी शान। कदम क़दम पर धोखे हैं, चलना है सम्हल सम्हल के। नज़र हटी, घटी दुर्घटना, बैठे सब घात लगाके। वक्त बड़ा कीमती है ये, ठोकर खाके जाना। कोई अपना नहीं स्वयं को, तब हमने पहचाना। सबक मिला है दुनियां से ये, हम ही साथी अपने। अपनी राहें बना के हमको, पूरे करने सपने।। ©Kalpana Tomar #दुनियां_से_सीखा #nojohindi #nojolife #nojatopoetry #nojatoquotes