तुम मेरे सामने बैठो,मुझे ओ हर बात लिखना है.. मेरे दिल में है जो जज़्बात, ओ जज़्बात लिखना है। ये तेरी कजरा,तेरी गजरा,तेरी ये होठों की लाली लिखना है.. बस इसी तरह बैठे रहो,तेरा सृंगार लिखना है। तुम सामने बैठो ,मुझे ओ हर बात लिखना है... मेरे दिल में है जो... तेरा गुस्सा,तेरी मुस्कान,तेरी ओ पावन तन -मन लिखना है.. की है मुलाकात जो हमने ,ओ मुलाकात लिखना है। तुम सामने बैठो... मेरे दिल में हैं जो जज्बात ,ओ जज़्बात लिखना है.. मेरे सामने बैठो।