एक अनोखी प्रेम कथा में खुले बालों पर महाभारत करवाया दूजी कथा राम लला की जिसमे राम सेतु बनवाया था कलयुग में लोग मान रहे ताज प्रेम की निशानी है मैं तन से मानु , चित से मानु सच्ची कथा प्रेम की सिर्फ राम कहानी है कैसी महोब्बत थी उनकी सिर्फ एक अनुपम, अनोखी अलबेली, सती, सतवन्ति सीता था जिसने बनवाया ताजमहल उसकी बेग़म भी दसवीं थी कैसे मान लू ये प्रेम है मुमताज़ को दफनाने के वास्ते कब्र जो बनवायी है कहा तुलना कर सकोगे राम लला की सेतु की आज ब ताज धूल भरी माटी है जब बनाया राम सेतु राम लला ने सबका एक उपकार बताया था लाने अपना प्रेम इसलिए सेतु बनवाया था क्या बात करे उस नीच निशाचार की मामूली कब्र के लिए दुसरो के हाथ जो कटवाए थे ये कब्र नहीं मुमताज़ की ये तो कटे हाथो के बने मुकम्मल छोटा सा ताज है राजोतिया भुवनेश ©Rajotiya Bhuwnesh jangir अनोखी कहानी प्रेम की #NojotoRamleela