कमजोर नस है, वो कश्मकश है, न तेरे बस है, न मेरे बस है। दुखती रग पे हाथ धरे, हाल हुआ इक साथ धरे, इक रंग विवश है। तुम जो कुछ हमको समझो, उलझो खुद से, हमसे सुलझो, फिर बात सरस है। ©BANDHETIYA OFFICIAL #सरस हो। #angrygirl