सपना सपनो के मोती को उसने जीवन के धागे में पिरोया था कण कण मोती का चमकता था, जब अपने सपनो में वो खोया था रात अंधेरी पहरेदार थी उसकी, कच्ची नींद में वो सोया था दिन दिन मेहनत कर, एक सपना संजोया था सपनो के मोती की माला, बहुत भारी है उसकी वो पल पल जन्हें पूरा करने को , मेहनत में खोया था पक्की नींद से कच्ची नींद पे आकर छोटे कई सपनो को अपना बनाकर मेहनत पर पूरा भरोसा जताकर किस्मत को अपनी मुट्ठी में दबाकर सारा परेशानियों से नाता निभाकर उस काली घटा में भी अपना आशियाना बनाकर सपनो की दुनिया को असली बनाने में खोया था सपनो के मोती को उसने, जीवन के धागे में पिरोया था। -दीपक मिश्रा #Dream #Honesty #Nojoto #Feelinga #Thoughts #Inspiration #Motivation