ज़िन्दगी थम जाती है, जब कोई अपना रूठ जाता है, पतझड़ में जैसे कोई पत्ता, पेड़ से जुदा हो जाता है, दर्द से गुज़रती रात, शराब की खनक से, रुक ना सकी सावन में लगी ये आग, बारिशों से भी बुझ ना सकी !! एक ख़ूबसूरत #collab Rest Zone की ओर से... #ज़िन्दगी #YourQuoteAndMine Collaborating with YourQuote Didi #lovetopoetry #padhnelikhnewale #पढ़नेलिखनेवाले #kavitawrites