मैं राधे न बन पाऊंगी। आधे मिलन की रास में, पूर्णता की ही आस में, मैं अधमरी रह जाऊंगी! मैं राधे न बन पाऊंगी! (कैप्शन में आगे पढ़े...) मैं राधे न बन पाऊंगी। आधे मिलन की रास में, पूर्णता की ही आस में, मैं अधमरी रह जाऊंगी! मैं राधे न बन पाऊंगी! बस विरह का विलाप रहेगा, तुम्हारे स्मृतियों पर अश्रु से