हमें इतना भी नहीं एहसास, हम बिछड़ रहे हैं अपनों से "कितने दूर और कितने पास", ये कह रहे हैं हम सपनों से कितने दूर कितने पास.... तेरे उम्मीदों के सहारे हैं.... #कितनेदूरकितनेपास #collabwithकाव्यपथिक #काव्यपथिक #YourQuoteAndMine Collaborating with काव्य पथिक®