Nojoto: Largest Storytelling Platform

बिहार का बिहार शरीफ का मच्छर, बहुत शरीफ है भाई

बिहार का बिहार शरीफ का मच्छर,
    बहुत शरीफ है भाई ,
    नहीं सोने देगा, नहीं जागने देगा,
    सिर्फ और सिर्फ भागने देगा।

    43 वर्ष पहले , बिहार शरीफ नहीं आऊंगा,
    मैंने कसम खाया था,
    मच्छरदानी के भीतर रहकर भी ,
    बेहद शरीफ मच्छर से खुद को बचाया था।

    यार मत पूछो नाम उसका ,
    जिसने मेरा कसम तोड़वाया है,
    मच्छर का अहिंसक विचार,
    मुझसे इस कविता को लिखवाया है।

    बिहार का बिहार शरीफ का दवा सिर्फ मच्छरदानी है,
    बिहार शरीफ का मच्छर भी अद्भुत बलिदानी है,
    कभी पैर, कभी हांथ कभी नाक पार बैठ,
    करता बहुत शैतानी है।

     न सो सका , न बैठ सका , नहीं ठीक से लिख सका,
     किया आज बहुत है पिटाई,
     बिहार का बिहार शरीफ का मच्छर,
     बहुत शरीफ है भाई।।
     00000000000000000000
      प्रमोद मालाकार की कलम से
      बिहार शरीफ से ..8 oct.. 23.. रात्रि ...12.28.बजे।
      00000000000000000000

©pramod malakar
  #बिहार शरीफ का मच्छर

#बिहार शरीफ का मच्छर #कविता

2,187 Views