उस कांटों से घीरे गुलाब के फूल को, किसीके बालो कि खुबसुरती बढाने के लिए, आजाद करदो , उस गमले को तोड के, ये आंखों का काजल, माथे कि बिंदिया, और लबो पे लाली, और कितना सजोगी , कस के पकड कर बांध लो, हमे नही, अपनी खुली जुल्फो को, और देखो तो खुद को, उन लटो को, अपने चेहरे पर खुला छोड के, .For my special one..... 🖤❤ . . . #thevinoddhage.....