ईमानदारी का ऐसा जूता पहनूँगा जहाँ पांव रखूंगा छाप छोडूंगा।। बाजार की कोई चमचमाती वस्तु नही बनूँगा उस गली के कोने वाली ठेली का पकवान बनूँगा।। जुल्म का समंदर नही बनूँगा इल्म की एक बस एक बूँद बनूँगा।। ए फिज़र अपने लिए कुछ नही करूँगा गैरों की झोली में बस मुट्ठी भर सितारें भरूँगा।। #NojotoQuote #ऐसा_बनूँगा #kfrana#nojotohindi