वर्तमान की तनावपूर्ण जीवन पद्धति ने मानव जीवन को अधिक संगत में और कष्ट बहुले बना दिया उसे शांति और आनंद से परिपूर्ण बनाने के लिए धर्म उपासना का मूल समझना आवश्यक है जिसकी जिंदगी के खाते में आराधना उपासना की जन्म पूरी नहीं होती वह अरबों खरबों का मालिक होते हुए भी दर्द है जो इस आध्यात्मिक के बैंकों में अपनी भक्ति स्तुति आराधना उपासना की पूंजी का निवेश करता है वह पूंजी कभी नष्ट नहीं होती गीता में कहा गया है जो देवताओं की उपासना करता है वह देवलोक में जाता है जो प्रति लोग की उपासना करता मैं पृथ्वी लोक में जाता है जो भूलोक का उपासक भूलोक में चाहता है और जो मुझे पूछता है वह मुझ को प्राप्त करता है ©Ek villain #ddlj उपासना का मूल्य