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उसने बार-बार अपनी पहचान बदली,अपना क़िरदार बदला, उस

उसने बार-बार अपनी पहचान बदली,अपना क़िरदार बदला,
उसका इस तरह बदल जाना अगर मैंने बर्दाश्त कर लिया,
तो अब क्या फ़र्क पड़ता है अगर उसने अपना पता भी बदल लिया??

किसी और की नज़र में ख़ुद को अच्छा और सही साबित करने के लिए 
उसने हर बार मुझे और मेरे यक़ीन को ग़लत साबित कर दिया।
झूठी पहचान लेकर मिलता रहा वो मुझ से 
और ये जानते हुए भी कोई शिकायत नहीं की मैंने उस से,
उसका हर झूठ सिर्फ़ मोहब्बत की ख़ातिर ख़ामोशी से सुन लिया।

किसी और का भी दिल रखने की चाहत में उसने 
मेरा कितना दिल दुखाया है, क्या उसने कभी ख़ुद से ये सवाल किया??

रिश्ते सॅंभालने की और निभाने की बातें करता है वो और 
मेरे मुँह पर बंद किया दरवाज़ा उस से आज तक खोला ना गया ।
मेरे साथ-साथ मेरी दी हुई हर दस्तक को वो नज़र-अंदाज़ करता गया।

मेरा हर सवाल,मेरी हर उलझन को वो जानता और समझता भी था 
लेकिन सब कुछ जान कर भी वो बहुत मासूम और अंजान बनता गया । 

अब हौसला ही नहीं मेरे अंदर कि उसके दरवाज़े पर फ़िर दस्तक दे सकूॅं,
मेरे साथ-साथ अब तो मेरा दिल भी ना-उम्मीद हो गया।

ये सारी बातें अब शायद मैं कभी भी कह ना सकूॅंगी उस शख़्स से 
लेकिन ये बातें लिखते-लिखते इन ऑंखो में पानी ज़रूर आ गया ।

#bas yunhi ek khayaal .......

©Sh@kila Niy@z #basekkhayaal #basyunhi 
#Dil   #Na_ummidi 
#nojotohindi 
#Quotes 
#13nov
उसने बार-बार अपनी पहचान बदली,अपना क़िरदार बदला,
उसका इस तरह बदल जाना अगर मैंने बर्दाश्त कर लिया,
तो अब क्या फ़र्क पड़ता है अगर उसने अपना पता भी बदल लिया??

किसी और की नज़र में ख़ुद को अच्छा और सही साबित करने के लिए 
उसने हर बार मुझे और मेरे यक़ीन को ग़लत साबित कर दिया।
झूठी पहचान लेकर मिलता रहा वो मुझ से 
और ये जानते हुए भी कोई शिकायत नहीं की मैंने उस से,
उसका हर झूठ सिर्फ़ मोहब्बत की ख़ातिर ख़ामोशी से सुन लिया।

किसी और का भी दिल रखने की चाहत में उसने 
मेरा कितना दिल दुखाया है, क्या उसने कभी ख़ुद से ये सवाल किया??

रिश्ते सॅंभालने की और निभाने की बातें करता है वो और 
मेरे मुँह पर बंद किया दरवाज़ा उस से आज तक खोला ना गया ।
मेरे साथ-साथ मेरी दी हुई हर दस्तक को वो नज़र-अंदाज़ करता गया।

मेरा हर सवाल,मेरी हर उलझन को वो जानता और समझता भी था 
लेकिन सब कुछ जान कर भी वो बहुत मासूम और अंजान बनता गया । 

अब हौसला ही नहीं मेरे अंदर कि उसके दरवाज़े पर फ़िर दस्तक दे सकूॅं,
मेरे साथ-साथ अब तो मेरा दिल भी ना-उम्मीद हो गया।

ये सारी बातें अब शायद मैं कभी भी कह ना सकूॅंगी उस शख़्स से 
लेकिन ये बातें लिखते-लिखते इन ऑंखो में पानी ज़रूर आ गया ।

#bas yunhi ek khayaal .......

©Sh@kila Niy@z #basekkhayaal #basyunhi 
#Dil   #Na_ummidi 
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#Quotes 
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Sh@kila Niy@z

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