रहते हो तुम,अनगिनत ख़्यालों में, मेरे ही नही,अनगिनत जज़्बातों में, कभी पूरी शक्ल दिखाते, कभी दिखाते आधी कभी छुप गहन अंधियारों में, जलवाते हो,हमसे प्रतिक्षा की बाती, पर ये सारे नखरे, हम हँसते हँसते सहते, क्यूंकि चाँद तुम बेवफा नही लगते..... #tbnl#YQbaba#YQdidi Thanks for nominating me Ziddi Satya I further nominate Rishabh Choolkar Amita Pandeya Meghna Jaiswal Bhakat Ranjeeta Ashesh Ranjeeta Nath Ghai Manpreet Mannu Madhur Garg Anil Ameta You have to write with तुम बेवफा नही लगते