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उसके पिता कहा करते थे बड़ा शहर है कही इसकी चकाचौंध

उसके पिता कहा करते थे बड़ा शहर है 
कही इसकी चकाचौंध में अपना ईमान ना बेच देना।
पाँव जमीं पर ही रखना हमेशा बेटे
सर ऊंचा करने के चक्कर में हमारा सम्मान ना बेच देना।
ग़र डगमगाए पाँव तेरे इस बीच
तो खबर कर देना मुझको कुछ भी करने से पहले,
मैं जो बन सकेगा वो करूँगा तेरे लिए
बस ज्यादा की चाह में तेरा ईशान ना बेच देना।
आज उसे पिता की कही वो बात याद आ रही थी।
और ये बात उसे मन ही मन खाये जा रही थी।
बहुत सस्ते में बेचकर आ गया था वो ईमान को,
और उसके सपनों की इमारत बड़े शहर के चंगुल में 
समाए जा रही थी।
#kaafir_writes शहर #nojoto #nojotohindi #nojotopoetry
उसके पिता कहा करते थे बड़ा शहर है 
कही इसकी चकाचौंध में अपना ईमान ना बेच देना।
पाँव जमीं पर ही रखना हमेशा बेटे
सर ऊंचा करने के चक्कर में हमारा सम्मान ना बेच देना।
ग़र डगमगाए पाँव तेरे इस बीच
तो खबर कर देना मुझको कुछ भी करने से पहले,
मैं जो बन सकेगा वो करूँगा तेरे लिए
बस ज्यादा की चाह में तेरा ईशान ना बेच देना।
आज उसे पिता की कही वो बात याद आ रही थी।
और ये बात उसे मन ही मन खाये जा रही थी।
बहुत सस्ते में बेचकर आ गया था वो ईमान को,
और उसके सपनों की इमारत बड़े शहर के चंगुल में 
समाए जा रही थी।
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