बचपन की यादें सभी को बड़े होकर बचपन बहुत याद आता है हँसना तो खुलकर हँसना रोना तो खुलकर रोना अपनी ही धुन मे मगन रहना ना कोई चिंता ना कोई परेशानी ना कोई दुख ना कोई हैरानी ना आगे बढ़ने की चाहत ना पीछे रहा जाने का गम ना किसी के रूठने की चिंता ना किसी के मनाने का इंतेज़ार दिवाली दशहरा जब थे तोहार ना की सिर्फ नियमो के हार जब दिल मे जो आये वो करना बाद मे भले ही मार पड़ना ना समाज के नियमो का बंधन ना दिल मे कोई उलझन उम्र बढ़ते ही पैसे को पाने की चाहत पैसे को पाने के बाद उसका ग़ुरूर बचपन मे इन बाते तो हम थे बहुत दूर जीना सिकते 2 बड़े हो गए तब बड़े होकर समझ आया की की जीते तो तब थे जब पता भी नहीं था की जीना क्या है हर एक चीज की कीमत तब थी तब पता भी नहीं था की उनकी कीमत क्या है सभी को बड़े होकर बचपन बहुत याद आता है| #NojotoQuote सभी को बड़े होकर बचपन बहुत याद आता है #nojoto #nojotopoem #nojotoquotes #nojotostory #nojotobachpan