सिगरेट के उपासकों के लिए 🧘 सिगरेट के उपासकों के लिए 🧘 सिगरेट अध्यात्म है, स्वभक्ति में रुचि रखने वाले लोगों के लिए सिगरेट पथप्रदर्शक है , मार्ग से भटके हुए लोगों के लिए सिगरेट भरोसा है ,दिल टूटे आशिकों का सिगरेट जुड़ाव है,, सिगरेट। रसौ वै स: ,इस सूक्ति को सार्थक करती है अर्थात, सिगरेट रस रूप है। वह जाज्वल्यमान होते ही हम सभी को प्रेरित करती है कार्यों कि ओर ,वह सिद्ध करती है , उपनिषद की इस सूक्ति को " उत्तिष्ठत जाग्रत प्राप्य वरान्निबोधत।" वह चित्रकार भी है ,हवा में उड़ता उसका धुआं अनेकानेक चित्रों का निर्माण करता है ,तितली मोर, न जानें क्या क्या, कभी कभी लगता है कि,सिगरेट ही पिकासो की अभिप्रेरणा रही होगी☺️ सिगरेट ,भेदभाव रहित है ,वह छुआ _ छूत ऊंच _नीच आदि कुरीतियों से कोसो दूर है कोई उसे राजमहल में ग्रहण करे ,या चौराहे पर कोई युवा करे या बुजुर्ग, वह सबके साथ समान व्यवहार करती है 😁 प्रातः। काल उठते हि जैसे हि वह मेरे अधरों से लगती है ,तो लगता है कि किसी नई नवेली नायिका ने अपने कोमल अधर मेरे अधरों पर आहिस्ता से रख दिए हों , और फिर कड़क आलिंगन करके इठलाती हुई , रसोई घर की तरफ चली गई हो ,💓 अंत में कहूं तो । सिगरेट वस्तु मात्र नहीं है । सिगरेट अंत है प्रारंभ का🤘😇 ©पूर्वार्थ #सिगरेट