ज़िन्दगी सहारा दे तो एक नयी उड़ान भरु ज़िन्दगी किनारा दे तो लहरो का आसमान बनू ज़िन्दगी के ही भरोसे बैठा था ओर ज़िन्दगी निकल गई सारी ज़िन्दगी इंतेजार किया इसके मौका का इंतजार में न जाने कब ज़िन्दगी निकल गई... ©Himanshi chaturvedi #Sea zindagi.......zinda......rahe ..gi.