Nojoto: Largest Storytelling Platform

देवपितृकार्याभ्यां न प्रमदितव्यम। देवता और पितरों

देवपितृकार्याभ्यां न प्रमदितव्यम।

देवता और पितरों के कार्यों में मनुष्य को आलस्य नहीं करना चाहिए।
(तैत्तिरीय उपनिषद, १/११/१) पितृ यज्ञ अवश्य करें।
देवपितृकार्याभ्यां न प्रमदितव्यम।

देवता और पितरों के कार्यों में मनुष्य को आलस्य नहीं करना चाहिए।
(तैत्तिरीय उपनिषद, १/११/१) पितृ यज्ञ अवश्य करें।