तेरी आशिकी में हम यूँ मगरूर हो गए तेरे लबों को छुआ नशे में चूर हो गए। तेरी रूह का हिस्सा थे जो जुदा न हो सके तेरे सजदे में झुकने को मजबूर हो गए।। - निधि गुप्ता तेरी आशिकी