जिसे भी अपना समझा,सब मक्कार निकले। मैं सोचता रहा सुकून,सारे भीड़-भाड़ निकले। जिसे भी अपना समझा,सब मक्कार निकले। मैं सोचता रहा सुकून,सारे भीड़-भाड़ निकले। #जिसे #अपना #समझा #मक्कार #सोचता #सुकून #भीड़भाड़ #निकले