मैं हाथ में फाइलें पकड़ें एकटक उस दरवाज़े की ओर देख रहा था, जहां से कभी कोई मुस्कुराकर.. जुल्फों को अपनी यूं उड़ाकर.. मानो ऐसा लग रहा था जैसे हवा भी उसी का साथ दे रही हो..! काम हो या ना हो, बस एक बहाना सस्ता साथ में ढ़ेर सारे कागजों का बस्ता.. वो चाहती थी कि, वो और उसका काम पूरे दिन मुझमें उलझे रहे.. धीरे-धीरे मुझे ये खुमार.. चढ़ गया बेशुमार.. मेरी अजीब सी हसी भी, उसे अच्छी लगती थी.. पागल थी वो जो हर वक़्त मुझ पर मरती थी.. शायद खुदा को ये मंज़ूर ना था.. वो सक्स अब मुझसे दूर सा था.. मैं चाह कर भी उसे अब पा नहीं सकता.. वो सक्स अब हमेशा के लिए एक गहरी नींद में मगरुर सा था.. मुझे तो आज भी उसी का खुमार है.. लेकिन आज भी उतना ही बेशुमार है.. चलो अब मरने के बाद ही हो उससे मुलाकात.. लेकिन आज भी उस वक़्त का इंतज़ार है..!! -roYal #nojoto #Vo_Darwaza #खुमार #khumar #beshumar #intezar #aur #pyar