एक लड़की है, बहुत प्यारी है... सादगी जिसका श्रृंगार है, आँखों में प्यार बेशुमार है... अपनों का ख्याल है, उनकी परवाह जैसे संसार है.. बच्चों सी लड़ती, एक पल हसती, एक पल रूठती बिन मनाये भी मान जाती, निश्छल नदी की धार है.. एक अनोखी जादू जैसे, सबको खुश कर जाती है.. सबके मुख पर मुस्कान हो इसलिए कभी खुद दुखी रह जातीहै.. चंचल है, पर धर्ये भी है, हर संकट से भीड़ जाती है.. जब भी होता हूँ व्याकुल मैं , हरदम साथ निभाती है... करुण हिर्दय साथ लिए, मेरी हर गलती झुठलाती है.. मुझे डांटती है अक्सर, पर मेरे लिए सबसे लड़ जाती है . वो आईना सा है मेरी, मुझको मुझसे मिलवाती है... जब भी देखता हूँ खुद को वो मुझमे ही दिख जाती है.. सबसे मिलती है लेकिन, मुझमे वो घुल जाती है.. घुल कर मेरी रूह में, मुझको मुझसा कर जाती है....