कुछ इश्क़ में लुटे कुछ लुटाए गए हम भूले नहीं हम भुलाए गए जान थे हम उनके बेजान बनाये गए कोई सिकवा गीला नही फिर भी भुलाए गए उनका दिल घर था मेरा घर से निकाले गए शौक था उनको मरने का मैयत पे हम बुलाये गए चढ़ना फूलों को था हम हीं चढ़ाए गए बात होगी बहिश्त में इस तरह यहाँ क्यू बुलाये गए ✍️ अमितेश निषाद ( सुमित ) ०४/०६/२०१९ #NojotoQuote कुछ इश्क़ में लुटे कुछ लुटाए गए हम भूले नहीं हम भुलाए गए जान थे हम उनके बेजान बनाये गए