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जैसा कि हम सभी जानते हैं कि ट्रेन में दो तरह की बो

जैसा कि हम सभी जानते हैं कि ट्रेन में दो तरह की बोगियां होती है एक जनरल क्लास बोगी और दूसरी फर्स्ट क्लास बोगी जिसे हम एसी बोगी भी कहते हैं। जब मैं बचपन में ट्रेन में सफर करता था तो हमारे पेरेंट्स में जनरल बोगी में लेकर जाते थे। और उसी ट्रेन में कुछ ऐसे भी लोग थे जो कि फर्स्ट क्लास बोगी में सफर किया करते थे। मैं जब उन लोगों को देखता था तुम मुझे उन लोगों पर हंसी आती थी क्योंकि मुझे लगता था कि यह लोग भी तो उसी ट्रेन में चढे हैं जिस ट्रेन में हम सफर कर रहे हैं ये भी उतनी ही टाइम है पहुंचेंगे जितने टाइम में हम लोग पहुंचेंगे, कोई ऐसा थोड़ी है कि तू जिस बोगी में है वह पहले पहुंच जाएगी और हम जिस पर चढ़े है वह बाद में पहुंचेगी।
 पर बहुत सालों के बाद मुझे इस बात का एहसास हुआ कि नहीं बोगी से फर्क पड़ता है।अगर हम फर्स्ट क्लास बोगी में सफर करते हैं तो हमारे साथ फर्स्ट क्लास लोग ही सफर करेंगे जिनका की रहन,सहन बात करने का तरीका अलग होगा। उनसे हमें अच्छे संस्कार सीखने को मिलेंगे। जबकि लो क्लास बोगी में सफर कर रहे लोगों से हमें ना ही अच्छे संस्कार सीखने को मिलेंगे ना ही सही ढंग से बात करने का तरीका पता चलेगा और ना कोई दूसरी चीजें।दोनों के संस्कारों में व बातचीत करने के तरीके में जमीन आसमान का फर्क है।

©S Talks with Shubham Kumar फर्स्ट क्लास व जेनरल क्लास बोगी में अंतर

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जैसा कि हम सभी जानते हैं कि ट्रेन में दो तरह की बोगियां होती है एक जनरल क्लास बोगी और दूसरी फर्स्ट क्लास बोगी जिसे हम एसी बोगी भी कहते हैं। जब मैं बचपन में ट्रेन में सफर करता था तो हमारे पेरेंट्स में जनरल बोगी में लेकर जाते थे। और उसी ट्रेन में कुछ ऐसे भी लोग थे जो कि फर्स्ट क्लास बोगी में सफर किया करते थे। मैं जब उन लोगों को देखता था तुम मुझे उन लोगों पर हंसी आती थी क्योंकि मुझे लगता था कि यह लोग भी तो उसी ट्रेन में चढे हैं जिस ट्रेन में हम सफर कर रहे हैं ये भी उतनी ही टाइम है पहुंचेंगे जितने टाइम में हम लोग पहुंचेंगे, कोई ऐसा थोड़ी है कि तू जिस बोगी में है वह पहले पहुंच जाएगी और हम जिस पर चढ़े है वह बाद में पहुंचेगी।
 पर बहुत सालों के बाद मुझे इस बात का एहसास हुआ कि नहीं बोगी से फर्क पड़ता है।अगर हम फर्स्ट क्लास बोगी में सफर करते हैं तो हमारे साथ फर्स्ट क्लास लोग ही सफर करेंगे जिनका की रहन,सहन बात करने का तरीका अलग होगा। उनसे हमें अच्छे संस्कार सीखने को मिलेंगे। जबकि लो क्लास बोगी में सफर कर रहे लोगों से हमें ना ही अच्छे संस्कार सीखने को मिलेंगे ना ही सही ढंग से बात करने का तरीका पता चलेगा और ना कोई दूसरी चीजें।दोनों के संस्कारों में व बातचीत करने के तरीके में जमीन आसमान का फर्क है।

©S Talks with Shubham Kumar फर्स्ट क्लास व जेनरल क्लास बोगी में अंतर

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