कब तक मैं समझूँ ए ज़िन्दगी तेरी इन बातों को कभी तुम भी तो समझो मेरे जज़्बातों को जिंदगी मैं तुझसे खफा नहीं पर ये कोई पहली दफा नहीं एक हाथ में खुशियाँ दे जाते हो दुजे हाथों में गम समझ नहीं पाती हुँ खुशी से मुस्कुराऊँ या कर लुँ आँखे नम सामने होके भी कोई अपना आँखों से ओझल रहता है जिनके लिए ये साँसे पल पल बेकल रहता है। कैसे समझे ए ज़िन्दगी तेरी इन बातों को कभी तुम भी तो समझो मेरे जज़्बातों को। बहुत कुछ सामने होकर भी आँखों से ओझल रहता है। #क्यासमझे #collab #yqdidi #YourQuoteAndMine Collaborating with YourQuote Didi #अपनेपन_से_जख्मी #life