Nojoto: Largest Storytelling Platform

जैसे सुनती हो अपनी मनपसंद गजल वैसे सुनो गी, तो कह

जैसे सुनती हो अपनी मनपसंद गजल
वैसे सुनो गी, तो कह दूँ क्या।
जैसे रखती हो ताबीज़ को सीने से लगा के 
वैसे रखोगी तो तेरे शहर में कुछ दिन रह लूँ क्या।
सुना है आदत है तुम्हारी चाय ठंडी करके पीने की,
इजाज़त हो,तो एक घूँट उसमे से पी लूँ क्या।
                        - Rishi joshi #जैसे सुनती हो अपनी मनपसंद गजल
वैसे सुनो गी, तो कह दूँ क्या।
जैसे रखती हो ताबीज़ को सीने से लगा के 
वैसे रखोगी ,तो तेरे शहर में कुछ दिन रह लूँ क्या।
सुना है आदत है तुम्हारी चाय ठंडी करके पीने की,
इजाज़त हो,तो एक घूँट उसमे से पी लूँ क्या।
                        - Rishi joshi
#कविता #शायरी #लव #नोजोटोहिन्दी
जैसे सुनती हो अपनी मनपसंद गजल
वैसे सुनो गी, तो कह दूँ क्या।
जैसे रखती हो ताबीज़ को सीने से लगा के 
वैसे रखोगी तो तेरे शहर में कुछ दिन रह लूँ क्या।
सुना है आदत है तुम्हारी चाय ठंडी करके पीने की,
इजाज़त हो,तो एक घूँट उसमे से पी लूँ क्या।
                        - Rishi joshi #जैसे सुनती हो अपनी मनपसंद गजल
वैसे सुनो गी, तो कह दूँ क्या।
जैसे रखती हो ताबीज़ को सीने से लगा के 
वैसे रखोगी ,तो तेरे शहर में कुछ दिन रह लूँ क्या।
सुना है आदत है तुम्हारी चाय ठंडी करके पीने की,
इजाज़त हो,तो एक घूँट उसमे से पी लूँ क्या।
                        - Rishi joshi
#कविता #शायरी #लव #नोजोटोहिन्दी
rishijoshi1026

Rishi Joshi

Bronze Star
New Creator