फैला है अज्ञान, कैसे हो कल्याण, अपने को जानो, अंदर बैठा कौन, पता करो अपना, भटको मत नादान, ज्योति पूँज स्वरुप, साक्षी ख़ुद विज्ञान, अंधकार हो नष्ट, ढूँढो स्वयं निदान, सदियों से आबाद, चमक रहे दिनमान, काटे सब भ्रमजाल, 'गुंजन' सद्गुरु ज्ञान, -शशि भूषण मिश्र 'गुंजन' चेन्नई तमिलनाडु ©Shashi Bhushan Mishra #कैसे हो कल्याण#