मेरी सिसकती आवाज़ का कारण तुम क्या जानोगे... मेरी हँसी के पीछे की गिड़गिड़ाहट तुम क्या जानोगे... तुमने तो दो पल की अहमियत के मुनासिब न समझा मुझे... मेरे अरमानों की कीमत तुम क्या जानोगे... ~Arsh #poetry #quotes #shayari