ज़िन्दगी की इस दौड़ में गलतियां करते हैं हम। गलतियों के पुतले हैं। पर क्या गलत हैं हम? हस्ते हुए चेहरे के पीछे आँशुओं को छिपाते हैं हम। रोते हुए चेहरे को हँसाते हैं हम। गलतियां करते नही हो जाती है। कहते हैं गलतियों से सही को सीखते हैं हम। अगर यही हमारी गलती है तो। हाँ गलत हैं हम।। यह ज़रूरी है कि दिन को दिन कहा जाए और रात को रात। सही को सही और ग़लत को गलत। लिखें जो आपकी नज़र में ग़लत है। #ग़लतहै #collab #yqdidi #YourQuoteAndMine Collaborating with YourQuote Didi