#GateLight#कहानी- मतवाला समय
मॉल में ज़रूरी ख़रीदारी करती हुई टीना ने एक जानी-पहचानी सी आवाज़ सुनकर एक बार देखा फिर दोबारा पीछे देखा और सन्न-सी टीना गौर से देखती ही रह गई.
हां वही था, वही तो था… नितिन… वो एकाएक जड़-सी हो गई. आज तो उसे जैसे सांप सूंघ गया. ना हिलते बनता, ना डुलते. टीना कुछ सकपका-सी गई. आज पूरे दस साल बाद नितिन इस शहर में मतलब टीना के शहर में आख़िर क्या करने आया होगा भला? कहीं कोई जासूसी वगैरह… जैसे चोर को अपने माथे पर चोर लिखा हुआ महसूस होता है, टीना भी इसी अपराधबोध में घिर गई.
अ #suspense