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New मुल्के शाम की लड़ाई Quotes, Status, Photo, Video

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Dalip Kumar 'Deep'

💕💕✍🏿अच्छी लगती हैं सर्दी की शाम 😊🌹🌹

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Ganesh Din Pal

#लड़ाई झगड़ा जिंदगी का तवाह करें तगड़ा

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नवनीत ठाकुर

#लड़ाई अपनी जारी रखें

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छक्के पंजे के चक्कर में,
कौड़ियों के भाव बिक न जाना कहीं,
बेहतर है कीमत अपनी भारी रखो।
हल्के में समझौता नहीं करना,
संघर्ष अपना जारी रखो।

सुनी-सुनाई बातों पर विश्वास न करें,
लोगों से ऐसे अपनी दूरी बनाए रखें।
सदियों से चली आ रही है झूठी रवायतें,
ऐसी रस्मों को अपने जूते की नोक पर रखें।
लोगों को मुंह पर मीठी बात करने की है आदत,
सच बोलने से पीछे न हटे, जुबान पर कड़वी दवाई रखें।

©नवनीत ठाकुर #लड़ाई अपनी जारी रखें

katha Darshan

विचारों की लड़ाई ! Katha Darshan

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White लोगों के दृष्टिकोण को लेकर
 ज्यादा मत सोचिए

क्योंकि सबसे ज्यादा वो लोग ही 
हमारा मूल्यांकन करते हैं
जिनका खुद कोई मूल्य नही होता

©katha Darshan #Nojoto 
विचारों की लड़ाई ! Katha Darshan

neelu

#GoodMorning #सब इस बात पर #लड़ रहे हैं की कोई #लड़ाई नहीं #चाहता हैं

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White सब इस बात पर लड़ रहे हैं 
की कोई लड़ाई नहीं चाहता हैं

©neelu #GoodMorning #सब इस बात पर #लड़ रहे हैं 
की कोई #लड़ाई नहीं #चाहता हैं

Uttam Bajpai

'कॉमेडी'मेरे पापा की लड़ाई हो रही है

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Veer Tiwari

गांव की एक शाम ....

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रात के 9:00  बज रहे हैं, और गाँव की गलियों में एक सुकून भरी ठंडक घुली हुई है। गली के दोनों किनारों पर लगी स्ट्रीट लाइट्स की रोशनी चारों ओर बिखरी हुई है, जो गाँव की सड़कों को चाँदनी जैसा उजाला दे रही है। गर्मी अब विदा लेने को है, और ठंडी हवा के झोंके जैसे इसे अलविदा कहने के लिए हर तरफ हाथ हिला रहे हैं।

गाँव की यह रात किसी बड़े शहर की चहल-पहल से अलग है—यहाँ की सड़कों पर अब हल्की रौनक बची है। कहीं-कहीं लोग अभी भी अपने घरों के बाहर बैठकर हँसी-मज़ाक कर रहे हैं, और कहीं दूर से मोबाइल की धीमी-सी धुन सुनाई दे जाती है। खेतों के किनारे खड़े बिजली के खंभे और उनके तारों पर बैठी चिड़ियों की आवाज़ें अब शांत हो गई हैं, और सड़कों के किनारे लगे पेड़ हवा के साथ धीरे-धीरे हिल रहे हैं।

चार-पाँच दिन बाद दिवाली है, और उससे पहले यह ठंडी रातें जैसे त्योहार का आगाज़ कर रही हैं। यह सिर्फ़ मौसम का बदलाव नहीं है, यह एक नई ताजगी और उम्मीद का संकेत है। जैसे ही हवा के झोंके पेड़ों से टकराते हैं, उनकी पत्तियाँ हौले से फड़फड़ाती हैं, जैसे गाँव का हर कोना इस बदलाव का हिस्सा बनना चाहता हो।

आसमान में चमकते तारे और एक साफ चाँद की रोशनी, स्ट्रीट लाइट्स की पीली चमक में घुल-मिल गई है। सड़कें अब लगभग खाली हैं, पर कुछ गाड़ियों की लाइट्स अभी भी गाँव की सड़कों को पार कर रही हैं। यहाँ की रातें अब बस आराम और सुकून की होती हैं, जहाँ लोग अपने दिनभर की थकान को भुलाकर थोड़ी देर ठंडी हवा में बैठे रहते हैं।

गाँव का यह दृश्य—साफ सजी-धजी गलियाँ, बिजली की रोशनी, और चारों ओर फैली हल्की ठंड—मन को एक अलग ही सुकून देती है। यह आधुनिकता और गाँव की सादगी का एक सुंदर मेल है, जहाँ रातें सिर्फ़ आराम की नहीं, बल्कि एक नए एहसास की भी हैं। धूल और हवा में तैरती ठंडक, ये सब मिलकर एक नया सुर रचते हैं, जो सीधे दिल तक पहुँचता है।

यहाँ की रातें, यह शांति, और हर जगह की अपनी कहानी—सब कुछ मिलकर एक ऐसा अनुभव रचती हैं, जो बहुत गहरा और मनमोहक है। यह गाँव का नया रंग है, जहाँ आधुनिकता के साथ गाँव की आत्मा बरकरार है, और हर रात उसकी अपनी ही एक नई कहानी बुनती है।

©Veer Tiwari गांव की एक शाम ....

Nurul Shabd

#ज़िंदगी #ग़म #की #शाम है  हिंदी शायरी

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Jansurajharnaut

*नवंबर में होने वाले चार उपचुनावों को जीतकर 2025 की लड़ाई 2024 में ही सेटल कर देगा जन सुराज।*

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sumeet raj

#Sad_Status #दिल ना-उमीद तो नहीं नाकाम ही तो है लम्बी है ग़म की शाम मगर शाम ही तो है #sumeetraj #sumeetworld

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