Find the Latest Status about bewakoof mask from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos about, bewakoof mask.
samandar Speaks
White अब क्या बताऊं ये क्या हैं इक सपना है हिंदी में, या उर्दू में ख्वाब है, चाँद का आइना, सूरज का नक़ाब है। बारिशों की छन-छन, जैसे सितारों की सरगोशी, हवा की सरसराहट, मानो ज़ुबां पर कोई नज़्म रुकी हो। लहरों की हलचल, जैसे धड़कता हो समंदर का दिल, भँवरों की गुनगुनाहट, जैसे मौन की गहराई में छुपा एक गीत। अब क्या बताऊं ये क्या है, ये सुबह का आँचल, जिसमें रौशनी का जादू सिमटा है, ये शाम का सन्नाटा, जैसे थककर कायनात खुद को सुला रही हो। जंगलों की फुसफुसाहट, जैसे पेड़ आपस में राज़ बांट रहे हों, पहाड़ों की बुलंदी, जैसे किसी दुआ की सदा आसमान को छू गई हो। अब क्या बताऊं ये क्या है, ये बूँदें, जो धरती की प्यास बुझाकर मुस्कुराती हैं, ये मिट्टी की ख़ुशबू, जैसे कुदरत का इश्क़ ज़मीन से लिपट गया हो। ये फूलों का खिलना, जैसे हर सुबह एक नया अफ़साना लिखती हो, ये तितलियों का नृत्य, जैसे रूहानी ख़्वाबों का रंगीन कारवां। अब क्या बताऊं ये क्या है, ये बादलों का आग़ोश,जैसे किसी मां ने अपने बच्चे को छुपा लिया हो, ये झील का सुकून, जैसे किसी सूफी का दिल। कुदरत का हर रंग, हर सुर, हर अंदाज़, जैसे खुदा ने अपने दिल के सबसे गहरे कोने में हमारे लिए एक नज़्म लिख छोड़ी हो। अब क्या बताऊं ये क्या हैं राजीव@samandar speaks ©samandar Speaks #love_shayari Satyaprem Upadhyay Radhey Ray Mukesh Poonia मनीष शर्मा bewakoof
#love_shayari Satyaprem Upadhyay Radhey Ray Mukesh Poonia मनीष शर्मा bewakoof
read moresamandar Speaks
Unsplash नीली आँखों का जादू और पलकों का पहरा गुलाबी ये आलम और दिल ठहरा ठहरा तब्बसुम मोतियों सा लबों पे है छाया और सुर्खी ए महरो है पसरा पसरा काले बादलों का घेरा ,और बारिश की बुँदे, चाँद हो जैसे की ,नहाया नहाया इस्लाम सी है ,लाम लट गेसुओं की अदा पे खुदा का ,है नूर, पसरा पसरा सांसो की ताज़गी में, कुदरत, की ख़ुशबू, एक जाम हर अदा जैसे हो छलका छलका Rajeev ©samandar Speaks #camping Radhey Ray Mukesh Poonia मनीष शर्मा Anant bewakoof
#camping Radhey Ray Mukesh Poonia मनीष शर्मा Anant bewakoof
read moresamandar Speaks
White मेरी माँ मेरी यादों के चिलमन में आज भी मेरी माँ है, मुझमें ज़िंदा हर पहलू में शामिल मेरी माँ है। रातभर चाँद से गुफ़्तगू करती रोज़, ये मेरी आंखें अब भी रोशन मेरी आंखों में रहती, मेरी माँ है। ढूँढ़ता हूँ उसे मै फ़ज़ा के रास्तों पर हर नई सुबह का पहली तारीख, मेरी माँ है। मेरे कतरे कतरे देते झलकी उसके इल्म की, मेरी घर के हर कोने में दिखती, मेरी माँ है। छोड़ ग़ई है दूर मुझे गुमनाम सी मंजिल पर पर आज भी उसकी आहट कहती,मेरी माँ है। राजीव । ©samandar Speaks #sad_dp Mukesh Poonia Radhey Ray मनीष शर्मा Sandeep L Guru bewakoof
#sad_dp Mukesh Poonia Radhey Ray मनीष शर्मा Sandeep L Guru bewakoof
read moresamandar Speaks
Unsplash मन खफा है, गुमशुदा है, ग़म का साया है, अजनबी-सा कोई दर्द, बेवजह भीतर पला है। राहें भी चुप हैं,मंज़िलें धुंधली, कदम रुक-रुक से,जैसे कोई थका कारवां। आसमान बेरंग है,सितारे कहीं खो गए, चाँदनी भी अब,अंधेरों में घुल गई है। अश्क हैं, मगर बहते नहीं, जख्म हैं, पर दिखते नहीं, जैसे कोई राज़ छुपा है, सांसों की खामोशी में। खुशियां अधूरी,सपने बेमानी,हर चाहत जैसे खो गई ज़िंदगी की भीड़ में। रूह में शोर है, मन की परतों में ख़ामोशी, सवालों की कैद में कोई जवाब नहीं मिलता। शायद ये ग़म ही मेरा हमसफ़र है, या खामोशियों में बसी एक उलझन, लेकिन कहीं…धुंध के उस पार एक किरण बाकी है। राजीव ©samandar Speaks #camping Satyaprem Upadhyay Mukesh Poonia Radhey Ray Anant bewakoof
#camping Satyaprem Upadhyay Mukesh Poonia Radhey Ray Anant bewakoof
read moresamandar Speaks
Unsplash आईना मुझसे मेरे वक़्त का हिसाब मांगता है, अक्स पे बेजान अदावत का जवाब मांगता है। धूल चेहरे पे, या ख़्वाबों में भटकती है कहीं, हर परत मुझसे छुपे राज़ का नक़ाब मांगता है। वो जो गुज़रा है कभी ख़्वाब सा लम्हा बनकर, अब वही बीते हुए लम्हों का हिसाब मांगता है। जिनको देखा था ख़ुदा का ही करम समझ कर, वो मेरा टूटता ईमान बेहिसाब मांगता है। आईने के उस पार मैं भी कहीं ग़ुम सा हूँ, और वो मुझसे मेरी रौशन किताब मांगता है। सोचता हूँ कि ये आवाज़ है दिल की या वक़्त, हर सदा जैसे मुक़द्दर का मिज़ाज मांगता है। ख़ुद को पहचान सकूँ, इतनी भी मोहलत दे दे, ये जहाँ मुझसे हर एक हाल का जवाब मांगता है। Rajeev ©samandar Speaks #library Mukesh Poonia Anant Radhey Ray Sandeep L Guru bewakoof
#library Mukesh Poonia Anant Radhey Ray Sandeep L Guru bewakoof
read moreअश्लेष माडे (प्रीत कवी )
फार सोपं नसतं हो सहजासहजी माणूस कळणं दिसणं आणि असणं वेगळं असतं म्हणून साहजिकच आहे माणूस फसणं... वेगवेगळे रुप इथे एका माणसाचे कठीणच एकरूपी माणूस मिळणं सहवासात माणूस कळत नाही तर कसं शक्य ऑनलाईन चारित्र्य कळणं... प्रत्येकाला जमत नसतं ना मनातलं सांगणं किंवा मनातलं लिहिणं काही असतातच गुपित ठेवून जगणारे कठीणच आमच्यासारखे उघड विचारांचे असणं... पोटात काय अनं ओठात काय अशक्यच कोणाच्या मनातलं कळणं बऱ्याचदा दिसतं तसं नसतंच जरा कठीणच कुणी दिसण्यासारखं असणं... बरेच मिळतील असे पावलोपावली ज्यांना जमतं इतरांची फसवणूक करणं खूप कमी असतात असे ज्यांना आवडतं जसं असणं तसं खरं खरं दिसणं... इथे एका भेटीत आयुष्यभरासाठी नातं जोडतात कठीणच ना एका दिवसात माणूस कळणं सोबत आयुष्य घालवून जिथे माणूस कळला नाही तिथे खरंच शक्य काय प्रामाणिक सोबती मिळणं... अनेक वर्षाच्या प्रामाणिक नात्यावर चरित्र्याचा डाग लावून जमतं यांना अनोळखीला एका दिवसात सोपवणं ज्यांना एकमेकांच्या सवयी अनं मनातलं असतं माहित लोकांना जमलंच नाही अशा नात्याला ओळखणं.... ©अश्लेष माडे (प्रीत कवी ) #mask life quotes in hindi thoughts about love failure very sad love quotes in hindi quotes
#mask life quotes in hindi thoughts about love failure very sad love quotes in hindi quotes
read moreQuseem Faruqui
उतार कर मुखौटे चेहरे से आईने में खुद को कभी देख तो जरा किरदार बदलते बदलते खुद तू कितना बदल गया सोच तो जरा ©Quseem Faruqui #mask
Yusra Kousar
How to Use Garnier Sheet Mask Garnier Serum Mask Garnier Sheet Mask Review In Hindi Garnier sheet mask demo Garnier Serum Mask Light Complet
read more