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तन्हाइयों में बीत गयी ज़िंदगी .. किसी को पता चला भी नहीं !! ऐसी दास्ताँ है ग़म-ए-हस्ती की .. किसी ने पढ़ा न सुना हो कहीं !! ©Arshu.... तन्हाइयों में बीत गयी ज़िंदगी .. किसी को पता चला भी नहीं !! ऐसी दास्ताँ है ग़म-ए-हस्ती की .. किसी ने पढ़ा न सुना हो कहीं !! jhanvi Singh
तन्हाइयों में बीत गयी ज़िंदगी .. किसी को पता चला भी नहीं !! ऐसी दास्ताँ है ग़म-ए-हस्ती की .. किसी ने पढ़ा न सुना हो कहीं !! jhanvi Singh #SAD
read morePoet Kuldeep Singh Ruhela
White कोशिश बहुत की तुझको भूल जाऊ में कोशिश बहुत की तुझको गम सुनाऊं में तन्हाई में जीता था में लेकिन मेरे दोस्त कैसे तुझको अपनी परेशानी बताऊ मैं ©Poet Kuldeep Singh Ruhela #Sad_Status कोशिश बहुत की तुझको भूल जाऊ में कोशिश बहुत की तुझको गम सुनाऊं में तन्हाई में जीता था में लेकिन मेरे दोस्त कैसे तुझको अपनी परे
#Sad_Status कोशिश बहुत की तुझको भूल जाऊ में कोशिश बहुत की तुझको गम सुनाऊं में तन्हाई में जीता था में लेकिन मेरे दोस्त कैसे तुझको अपनी परे #विचार
read moreRudradeep
White सच्चाइयों से मुंह मोड़ना गवारा नहीं है हमें जीने के लिए फिर भी बहाना सीखा है जिस महफ़िल में मिलती हैं सदा तन्हाईयां उस महफ़िल से भी दिल को लगाना सीखा है ©Rudradeep #महफिल #हम #तन्हाई
बदनाम
White तू साथ है, पर तुझे पा भी न सका, तेरे पास होते हुए भी, मैं खुद से दूर हूँ। "वो बोली, "कभी मुझसे नफ़रत की?" मैंने कहा, "नफ़रत? नहीं, वो भी कहाँ होती है, तू मेरी नफरत में भी मोहब्बत है, तेरे बिना ये जख़्म बेमानी है, और तेरे साथ ये ज़िन्दगी अधूरी है। "वो चुप हुई, आँखों में एक खामोश सवाल, मैंने कहा, "तू मदीरा है, पर मैं भी एक शायर हूँ, हम दोनों अधूरे हैं, पर एक-दूसरे से पूरे, तू मेरे अशआर की खुशबू है, और मैं तेरे नशे की तन्हाई।" ©बदनाम मैं तेरे नशे की तन्हाई
मैं तेरे नशे की तन्हाई #Poetry
read moreShashi Bhushan Mishra
White महफ़िल में भी मिली अकेली तन्हाई, गम के पन्ने पलट रही थी रुस्वाई, गिरा ताड़ से अटका किसी खजूरे पर, बेचारे ने कैसी है किस्मत पाई, बैठ गया खालीपन उसके जाने से, कभी नहीं हो सकती जिसकी भरपाई, बिन बरसे ही सावन घर को लौट गया, मन के अंदर ख़्वाहिश लेती अंगड़ाई, दिन ढ़लने को आतुर मेरे आंगन का, लगी छुड़ाने पीछा अपनी परछाई, आम आदमी की थाली से गायब है, कोर-कसर पूरा कर देती महंगाई, पैसों से तक़दीर की टोपी मिल जाती, दूर सिसकती बैठी मिलती तरुणाई, दिल की बात सुनाऊँ मैं किससे गुंजन, आहत करती मन को यादें दुखदाई, ---शशि भूषण मिश्र 'गुंजन' समस्तीपुर बिहार ©Shashi Bhushan Mishra #मिली अकेली तन्हाई#
k. k
White अकेली सूबह,अकेली शाम तन्हा दिल, छलकते जाम यादों में उनका नाम बस यही जिंदगी बन गई है ©k. k #sad_shayari यादें तन्हाइयों के Khushboo Gola Saurabh Tiwari Vaibhav Mishra mansi sahu
#sad_shayari यादें तन्हाइयों के Khushboo Gola Saurabh Tiwari Vaibhav Mishra mansi sahu #SAD
read more'मनु' poetry -ek-khayaal
chander mukhi
अक्सर याद आते हैं तन्हाइयों में वो पल जो कभी हँसकर गुजारे थे ©chander mukhi #तन्हाई
Prem Rajput (HODOPHILE)
White मुझको एक चादर देना अपने हल्के शब्दो की,, ठंड बहुत है दुनिया में,,, ऊपर से तन्हाई की हवा भी चलती है,,,, ©Prem Rajput (HODOPHILE) #तन्हाई
'मनु' poetry -ek-khayaal