Find the Latest Status about 1sep 2020 from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos about, 1sep 2020.
Sh@kila Niy@z
White अंजाने में ही सही लेकिन कुछ अंजान लोगों की तकलीफ़ की वजह बन रही हूॅं मैं । इसलिए उन लोगों से दूर ही हो जाऊॅं अब कुछ ऐसा सोच रही हूॅं मैं । ©Sh@kila Niy@z #basekkhayaal #basyunhi #Takleef #nojotohindi #Quotes #1sep shayari in hindi
#basekkhayaal #basyunhi #Takleef #nojotohindi #Quotes #1sep shayari in hindi
read moreSh@kila Niy@z
White मुझे हमेशा से ये यक़ीन था कि ये वही शख़्स है जिसे मैं जानती हूॅं। लेकिन यक़ीन मेरा ग़लत साबित हो गया और अब लगता है कि ग़लत मैं ही थी। लेकिन अब मैंने अपने दिल को समझा दिया है कि ये शख़्स, वो शख़्स है ही नहीं । और अब मेरा दिल मुझसे ये सवाल करता है कि तुझ से मोहब्बत करनेवाले तेरे अपने लोग हैं कई, फ़िर भी क्यूॅं ज़रूरी लगते रहे तुझे हमेशा वो लोग जिन्हें तेरी और तेरे जज़्बातों की क़द्र कभी थी ही नहीं। #bas yunhi ....... ©Sh@kila Niy@z #basekkhayaal #basyunhi #BROKEN_TRUST #nojotohindi #Quotes #1sep shayari sad shayari in hindi
#basekkhayaal #basyunhi #BROKEN_TRUST #nojotohindi #Quotes #1sep shayari sad shayari in hindi #Bas
read moreManju Tomar
White दिल भी तू दरिया भी तू समन्दर भी तूं और साहिल भी तू ©Manju Tomar #love_qoutes#nojotocarter दिल भी तू #1sep #manjutomar🥰 शायरी लव
#love_qoutes#nojotocarter दिल भी तू #1sep manjutomar🥰 शायरी लव
read moreSh@kila Niy@z
White मैंने तो सोचा था कि मेरी उलझन को समझ कर वो कोई हल निकालेगा उस उलझन का । लेकिन शायद उम्मीद ही ग़लत कर ली मैंने । ©Sh@kila Niy@z #basekkhayaal #basyunhi #Disappointed #nojotohindi #Quotes #1sep sad shayari
#basekkhayaal #basyunhi #Disappointed #nojotohindi #Quotes #1sep sad shayari
read moreSh@kila Niy@z
White दिल ही नहीं करता कि मैं उसे ग़लती से भी नज़र-अंदाज़ करूॅं । लेकिन सब कुछ इतना उलझा सा है कि समझ ही नहीं आता कि आख़िर मैं क्या करूॅं?? ©Sh@kila Niy@z #basekkhayaal #basyunhi #Dil #nojotohindi #Quotes #1sep
#basekkhayaal #basyunhi #Dil #nojotohindi #Quotes #1sep
read moreSmruti Ranjan Mohanty
White ଯାତ୍ରା -19 ତଥାପି ବଞ୍ଚିଛି ଏବେବି ମୁଁ ବଞ୍ଚିଛି , ତମେ ବଞ୍ଚିଛ , ସେମାନେ ବଞ୍ଚିଛନ୍ତି । ସବୁକିଛି ବୋଧେ ଶେଷ ହୋଇନାହିଁ ନାହିଁ ନାହିଁ ଭିତରେ ଜିଇଁଛି ଜୀବନ , ହତାଶାର ମରୁଭୂମିରେ ଆଶାର ବୁଲବୁଲ , ବ୍ୟାସ ସରୋବରରେ ସମ୍ଭାବନାର କୋଟିଏ ପଦ୍ମ, ଦୂର ଦିଗବଳୟ ସେପଟେ କାହାର ବଂଶୀସ୍ବନ - ପ୍ରଲୁବ୍ଧ କରୁଛି, ଭରିଦେଉଛି ଦେହ ମନରେ ଆଶାର ମେଞ୍ଚାଏ ମହକ । ସମୁଦ୍ର ଭିତରେ ମୋତି , ବାଦଲ ପଛପଟେ ଜ୍ୱଳନ୍ତ ସୂର୍ଯ୍ୟ , ଆକାଶରେ ମଲାଜହ୍ନର ଏଲିଜି , ଅମୃତ କଳସରେ ବିଷ ଛାଇ ଆଲୁଅରେ ଥର ଥର କଡ ଲେଉଟଉଛି ଜୀବନ । ପ୍ରେମ ଆଉ ପ୍ରତ୍ୟୟର ବିଶ୍ୱାସ ଆଉ ସମ୍ଭାବନାର ଯଜ୍ଞବେଦୀରେ ଟୋପା ଟୋପା ଲୁହ ତଥାପି ଗଡୁଛି ଜୀବନ ନିଃଶବ୍ଦରେ , ନିରାଶର ଅନ୍ଧଗଳିରେ ନିଶୁନ ରାଜରାସ୍ତାରେ ଏକା ଏକା ସାଉଁଟିବାକୁ ଭିନ୍ନଏକ ସନ୍ଦୀପ୍ତ- ବାଳଭାନୁର ଉଦୟ ଉତ୍ସବକୁ ହସୁଛି ଜୀବନ ମୃତ୍ୟୁକୁ ପିଠିରେ ସବାର କରି ; ମରଣ ପଥେ ଜୀବନର ଜୟଗାନ କେତେ ସତ କେତେ ମିଛ କେତେ ସ୍ବପ୍ନ କେତେ ବାସ୍ତବ ଜୀବନ ଶୋଇଛି ଚୁପଚାପ ଏକ ଜୀବନ ନଥିବା ଶବଭଳି ସ୍ବପ୍ନ ବିହୀନ ପୃଥିବୀରେ ଗୋଟା ଗୋଟା ହାଇ ମାରୁଛି ସତେ ଯେମିତି ଆଉଥରେ ଶୋଇଯିବ ସବୁଦିନ ପାଇଁ ଘୁମନ୍ତ ପୃଥିବୀର ମୁକୁଳା ଛାତିରେ କିଛି ସ୍ବପ୍ନ ଅନେକ ଯନ୍ତ୍ରଣା ଟିକିଏ ହସ କାଣିଚାଏ ଭଲପାଇବା ଟୋପାଏ ବିଶ୍ୱାସ କିଛି ପ୍ରାପ୍ତି କିଛି ଅପ୍ରାପ୍ତି କିଛି ଆଶା ଆଉ ପ୍ରତିଶୃତିକୁ ନେଇ ତ ଜୀବନ। ସ୍ମୃତି ରଞ୍ଜନ ମହାନ୍ତି© 13.8 2020 All Copyrights Reserved smrutiweb.wordpress.com smrutitanuja.blogspot.com https://www.facebook.com/titutiku/ Picture-google ©Smruti Ranjan Mohanty #love_shayari ଯାତ୍ରା -19 ତଥାପି ବଞ୍ଚିଛି ଏବେବି ମୁଁ ବଞ୍ଚିଛି , ତମେ ବଞ୍ଚିଛ , ସେମାନେ ବଞ୍ଚିଛନ୍ତି ।
#love_shayari ଯାତ୍ରା -19 ତଥାପି ବଞ୍ଚିଛି ଏବେବି ମୁଁ ବଞ୍ଚିଛି , ତମେ ବଞ୍ଚିଛ , ସେମାନେ ବଞ୍ଚିଛନ୍ତି । #Poetry
read moreVijay Vidrohi
White दोस्तों मैंने यह कविता तब लिखी थी जब NRC/CAAजैसा काला कानून देश में लाया गया था और दिल्ली में शाहीन बाग में बहुत बड़ा आंदोलन उसे खिलाफ चला था और जब शाहीन बाग में जो औरतें अपने आंदोलन में शामिल हो रही थी उनको गालियां गंदे गंदे शब्द बोले जा रहे थे तो उनके आंदोलनकारियों के सम्मान में यह कविता मैंने लिखी थी। " महान औरतें" तुम इनको औरत ना समझो क्रांति का आह्वान है शाहीन बाग का नाम विश्व में संघर्ष की पहचान है। लानत है उन पर जो करते औरत का अपमान है 4 महीने का बेटा मोहम्मद कर दिया मां ने कुर्बान है। फूलन देवी बनकर नारी जब-जब भरती हुंकार है अपने अत्याचारियों का करती फिर संहार है। आज की नारी फूलन देवी बनने को तैयार है शाहीन बाघ को देखकर अब कांपी ये सरकार है। देशभक्ति का नाटक करते बनते चौकीदार है पर्व है वह देश लूटने वाले वास्तव में गद्दार है। देश बेचकर खा गए जो क्या आदर के हकदार हैं? हिंदू मुस्लिम करने वाला धर्म का ठेकेदार है। झूठे जुमले सुनकर जनता बहुत हुई परेशान है पर जनता की यह सुने नहीं हुआ सत्ता का अभिमान है। इस सत्ता को बदलना चाहता भारत का नौजवान है तानाशाही नहीं सहेंगे करते ये आह्वान है। ©Vijay Vidrohi क्रांति_कारी लोकतंत्र #जनावाज #2019 #2020 #poem #Poetry #love #india #equality Nazim Ali (Shiblu) inaya SIDII SAFIYA RAFIQ Qamar Abbas S