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DHAKAD HAI HARYANA
#फाजिलका मे रिपब्लिकन पार्टी ऑफ इंडिया अम्बेडकर ने करवाया 21कन्याओ का सामूहिक विवाह @उत्तर् भारत अध्यक्ष एवं राष्ट्रीय प्रवक्ता सुनील गहलोत
read moreNisheeth pandey
6अमर क्रांतिकारी चन्द्रशेखर आज़ाद के जन्म दिवस पर शत् शत् नमन ----------------------------------------------------------------------- अमर देशभक्त चंद्रशेखर आजाद का जन्म 23 जुलाई 1906 को उत्तर प्रदेश के उन्नाव जिले में पंडित सीताराम तिवारी और जगरानी देवी के घर में हुआ था! वाराणसी में शिक्षा ग्रहण करने के बाद वे 1920 में महात्मा गाँधी द्वारा चलाये गए असहयोग आन्दोलन से जुड़ गए! 1922 में चौरी-चौरा में 22 पुलिसकर्मियों के क़त्ल के बाद गांधीजी द्वारा आन्दोलन वापिस लेने के कारण उन्हें भारी दुःख हुआ, क्यूंकि उनके मन पर जलियांवाला बाग़ हत्याकांड ने अमिट छाप छोड़ी थी! उनका मानना था कि एक सच्चे ब्राह्मण का धर्म दूसरों के लिए लड़ना है, एक बार पुलिस द्वारा जज के सामने पेश करने पर जब पंडित जी से उनका नाम पूछा गया तो उन्होंने अपना नाम आजाद बताया और अपने पिता का नाम सवतंत्र बताया, जबकि घर का बताया जेल बताया तो जज ने भन्ना कर उन्हें 15 कोड़े मारने की सजा सुनाई! क्रांतिकारी दलों से प्रभावित होकर आजाद हिंदुस्तान सोसिलिस्ट रिपब्लिकन पार्टी में शामिल हो गए और पंडित रामप्रसाद बिस्मिल, भगत सिंह, सुखदेव, बटुकेश्वर दत्त, राजगुरु, अशफाक उल्लाह खान, ठाकुर रोशन सिंह, राजेंद्र लाहिरी और जतिन दास आदि के साथ मिलकर उन्होंने क्रांति की एक नयी इबारत लिखी! चंद्रशेखर आजाद 1925 के काकोरी ट्रेन लूटकांड के सबसे बड़े सूत्रधार थे तो, 1926 में वायसराय की ट्रेन उड़ाने का पर्यास भी उनका ही था! लाला लाजपत राय की हत्या का बदला लेने के लिए उन्होंने 1928 में लाहौर में अपने साथियों के साथ मिल कर सांडरस का वध कर दिया! 24 साल के अपने छोटे से जीवनकाल में आजाद ने ज्यादातर गतिविधियों का सञ्चालन यूपी के सह्जहानपुर से किया, वे नौजवान भारत सभा और कीर्ति किसान सभा से भी सक्रिय रूप से जुड़े रहे! 27 फरवरी 1931 को अपने दो साथियों से मिलने इलाहाबाद के अल्फ्रेड पार्क पहुंचे आजाद को उनके ही एक साथी ने दगा दे दिया, आजाद को पुलिस ने चारों तरफ से घेर लिया और गोलियों की बरसात के बीच आत्मस्मर्पण करने को कहा! मगर पंडित जी खूब दिलेरी के साथ लडे और जब गोलियां ख़त्म हो गयी तो आखिरी गोली से अपनी जीवन लीला समाप्त कर ली! क्यूंकि उनका मानना था कि : “दुश्मन की गोलियों का हम सामना करेंगे, आजाद ही रहे हैं और आजाद ही रहें ©Nisheeth pandey अमर क्रांतिकारी चन्द्रशेखर आज़ाद के जन्म दिवस पर शत् शत् नमन ----------------------------------------------------------------------- अमर द
अमर क्रांतिकारी चन्द्रशेखर आज़ाद के जन्म दिवस पर शत् शत् नमन ----------------------------------------------------------------------- अमर द
read moreAnit kumar kavi
रोककर दंगे फसाद थामकर हाथों में ग़ुलाब अब हर समस्या को प्रेम से ही हल करेंगे अब थाम लो हाथों में हाथ । बहुत हो गया पत्थरबाजी अब बहुत हो गया दंगे फसाद अब मिलकर ही सब उत्तर देंगे चाहें हो वो जनता जनार्दन चाहें हो वो वीर जवान । #दिसंबर#नोजोटोहिन्दी#नोजोटो सोशलिस्ट रिपब्लिकन
#दिसंबर#नोजोटोहिन्दी#नोजोटो सोशलिस्ट रिपब्लिकन
read moreSingh Manpreet
पई चलदी पार्टी लगिया महफिला वजदी बिटेया मिसटा दी. कयोंकि कूडी फडके फोन आपे सरच मार देगी आई डी इंसटा दी. ©Singh Manpreet पार्टी
पार्टी
read moresomnath gawade
कायम 'पार्टी' घेण्यासाठी उत्सुक असणाऱ्या कार्यकर्त्यांची 'भुक्कड पार्टी' सुरू करण्याचा विचार करतोय. 😂🤣 #पार्टी