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बेजुबान शायर shivkumar
किसी कि महफ़िल में लूटे हम भी हैं किसी कि कहानी में झूटे हम भी हैं, ये ना सोचो कि सिर्फ़ बर्बाद तुम्हीं हो इस हादसे से तो न छूटे हम भी हैं, मुस्कुरा रहे हैं तो दिख रहें खुश सभी को वरना अंदर से टुकड़े टुकड़े टूटे हम भी हैं, आज तक चुप थे उनके डर से मगर आज मगर खुल कर फूटे हम भी हैं, भले ही कद्र ना हो आज उन्हें हमारी किसी के बंगले के गुल-बूटे हम भी हैं, हमें शिकायतें सिर्फ़ उन से ही नही हैं रूठी रूठी ज़िंदगी से तो रूठे हम bhi hai ©बेजुबान शायर shivkumar किसी कि #महफ़िल में लूटे हम भी हैं किसी कि #कहानी में झूटे हम भी हैं, ये ना सोचो कि सिर्फ़ #बर्बाद तुम्हीं हो इस #हादसे से तो न छूटे
Heer
White कलाकार तो हम भी है मगर किसीने मौका नहीं दिया, शौख को अपने इस कदर छुपा लिया हमने, आह भी ना भरी तब हमने। ©Heer कुछ अधूरी दास्तान कलाकार की 😥 hindi poetry sad poetry
कुछ अधूरी दास्तान कलाकार की 😥 hindi poetry sad poetry #Poetry
read moreAnuradha T Gautam 6280
Poet Maddy
रोज़ लिखते हैं मिटाते हैं, हम दास्तान मोहब्बत की......... बुरी होती है इस जहां में, लत मेरी जान मोहब्बत की....... इक दौर था जब होती थी, मोहब्बत से पहचान हमारी........ और आज हमसे होती है, जान पहचान मोहब्बत की......... ©Poet Maddy रोज़ लिखते हैं मिटाते हैं, हम दास्तान मोहब्बत की......... #Write#Erase#Story#Love#Bad#Addiction#Darling#Time#Identity.......
prashanth goldsmith
White **Title: दिल की दास्तान** तूफान तो आती रहती है ज़िंदगी में, बस कुछ लम्हे ठहर जाया करते हैं। हमेशा याद रहती है तेरी बातें, पर अब वो लम्हे भी गुम हो जाया करते हैं। ©prashanth goldsmith #Thinking **Title: दिल की दास्तान**
#Thinking **Title: दिल की दास्तान**
read moreJashvant
White मिरे लिए कौन सोचता है जुदा जुदा हैं मिरे क़बीले के लोग सारे जुदा जुदा सब की सूरतें हैं सभी को अपनी अना के अंधे कुएँ की तह में पड़े हुए ख़्वाहिशों के पिंजर हवस के टुकड़े हवास रेज़े हिरास कंकर तलाशना हैं सभी को अपने बदन की शह-ए-रग में क़तरा क़तरा लहू का लावा उंडेलना है सभी को गुज़रे दिनों के दरिया का दुख विरासत में झेलना है मिरे लिए कौन सोचता है सभी की अपनी ज़रूरतें हैं मिरी रगें छिलती जराहत को कौन बख़्शे शिफ़ा की शबनम मिरी उदासी को कौन बहलाए किसी को फ़ुर्सत है मुझ से पूछे कि मेरी आँखें गुलाब क्यूँ हैं मिरी मशक़्क़त की शाख़-ए-उरियाँ पर साज़िशों के अज़ाब क्यूँ हैं मिरी हथेली पे ख़्वाब क्यूँ हैं मिरे सफ़र में सराब क्यूँ हैं मिरे लिए कौन सोचता है सभी के दिल में कुदूरतें हैं ©Jashvant #हवस के टुकड़े puja udeshi Ek Alfaaz Shayri Andy Mann Mukesh Poonia vineetapanchal Dr.Mahira khan
Poet Maddy
रोज़ लिखत-मिटाते हैं हम दास्तान मोहब्बत की, इतनी अच्छी नहीं होती लत मेरी जान मोहब्बत की........ गर किसी के नाराज़ होने से तुम्हें भी फर्क पड़ता है, बस यही तो होती है इस जहां मे पहचान मोहब्बत की...... ©Poet Maddy रोज़ लिखत-मिटाते हैं हम दास्तान मोहब्बत की, इतनी अच्छी नहीं होती लत मेरी जान मोहब्बत की........ #Write#Erase#Story#Love#Addiction#Dear#Sad#Re
रोज़ लिखत-मिटाते हैं हम दास्तान मोहब्बत की, इतनी अच्छी नहीं होती लत मेरी जान मोहब्बत की........ #write#erase#storyLove#addiction#Dear#SADRe #world #recognition
read moreEkta Singh
White सुनाई गई न हमसे मोहब्बत की दास्तां होंठ खामोश होकर भी बन गए अश्कों की जुबां ©Ekta Singh #दास्तान
Poet Maddy
न जाने ये कैसी तलब है उसके दीदार की, जिसको देखकर शुरू हुई दास्तान मेरे प्यार की....... अब भला किस तरह मैं उसको बुरा कह दूं, मेरी कहानी में तारीफ हुई है उसके किरदार की....... ©Poet Maddy न जाने ये कैसी तलब है उसके दीदार की, जिसको देखकर शुरू हुई दास्तान मेरे प्यार की....... #Desire#See#Story#Start#Bad#Character#Prais..........