White इस वहशी दुनिया मे आदमी जी तों लेता है किसी तरह पर हमेशा सहमा हुआ रहता है हो सकता है ईश्वर उसके सब्र का इम्तिहान लें रहा हो आदमी ताउम्र संघर्षो मे खुद को घिस घिस कर बूढ़ा बना देता है क्या कहे उस बूढ़े को जो इस उम्र मे ख्वाब अभी भी जवानी. के देखता हो ©Parasram Arora ख्वाब