आशिकों की मौत का, सामान लिए फिरती हो,, जवान हुस्न और होठों पर, मुस्कान लिए फिरती हो,, नशीली इन आंखों में, जाम लिए फिरती हो,, सच बता ए हसीना, कितनों की जान लिए फिरती हो। 💓Ombir Kajal💓 ©Ombir Kajal मौत का सामान