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मेरी उम्र घटी सत्यता बढ़ी विद्रोह बढ़ा, और लोग मुझ

मेरी उम्र घटी
सत्यता बढ़ी
विद्रोह बढ़ा, और
लोग मुझमे से घटते गए

समझ नही आया
लोग और उम्र ही क्यों 
बाजिया लगाए

सत्यता और विद्रोह् भी तो
लगा सकते थे

इनका बढ़ना
अंततः सबको घटाता गया मुझमे से  !

©चाँदनी
  #Alive