White अब सुख और सुकून की नींद कहा नसीब होती हैँ आज के इंसान को आदमी दिन भर व्यस्त रहता हैँ रोज़ी रोटी कमाने की ज़ददो ज़हद मे उसे सुकून और सुख की फ़िक्र करने.का वक़्त ही कहा मिलता हैँ? ©Parasram Arora सुख और सुकून