इस दिल को तूझ पर एतबार बहुत हैं, मुझें अपनी धड़कनों पर इख्तियार बहुत है, तू हाँ कर या ना कर............. मुझें अपनी उमीदों का इंतज़ार बहुत हैं। माधवी मधु ©madhavi madhu #intezar sad poetry poetry in hindi