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Parastish
White कितनी प्यारी कितनी सुन्दर कितनी अजमल वो आँखें देखे जो भी कर देती हैं उस को घायल वो आँखें दिल में पसरे सन्नाटे को बाँध के अपने पोरों से बन के धड़कन छम-छम करती जैसे पायल वो आँखें शाम सवेरे डोले ऐसे मन के वीराँ आँगन में दूर गगन में गोया कोई उड़ता झाँकल वो आँखें बचने को मुश्ताक़ जहां से मस्त रुपहली क़ामत पे शर्म हया का पैराहन या कह लो आँचल वो आँखें उन की शोख़-निगाही के अफ़्सूँ का भी है क्या कहना आलम सारा कर दे आबी बरखा, बादल वो आँखें तीर-ए-मिज़्गाँ ऐसे कितने अहल-ए-दिल नख़चीर हुए कितने बिखरे कितने तड़पे कलवल कलवल वो आँखें ©Parastish अजमल- रूपवान,अत्यधिक सुंदर गोया - मानो, जैसे । झाँकल- परिंदों का झुंड मुश्ताक़ - शौक रखने वाला, अभिलाषी रुपहली - चाँदी जैसी । क़ामत - शरीर
अजमल- रूपवान,अत्यधिक सुंदर गोया - मानो, जैसे । झाँकल- परिंदों का झुंड मुश्ताक़ - शौक रखने वाला, अभिलाषी रुपहली - चाँदी जैसी । क़ामत - शरीर
read moreDevanand Jadhav
Priyawant Markamji
यह शरीर मिट्टी का है इसमें घमंड किस बात का। shayeri✍️M #KabirSaheb #santrampaljimaharaj
read moreN S Yadav GoldMine
{Bolo Ji Radhey Radhey} सुख हमारी देह (शरीर) को छूते हैं, और दुख हमारी आत्मा को छूते हैं, जो दोनों ही कष्ट दायक हैं, ज्यादा दिमाग पर बोझ नहीं रखना चाहिए। जय श्री राधेकृष्ण जी। ©N S Yadav GoldMine #navratri {Bolo Ji Radhey Radhey} सुख हमारी देह (शरीर) को छूते हैं, और दुख हमारी आत्मा को छूते हैं, जो दोनों ही कष्ट दायक हैं, ज्यादा दिम
#navratri {Bolo Ji Radhey Radhey} सुख हमारी देह (शरीर) को छूते हैं, और दुख हमारी आत्मा को छूते हैं, जो दोनों ही कष्ट दायक हैं, ज्यादा दिम
read moreਸੀਰਿਯਸ jatt
अरे लड़कियों इतना दुख मत दो शरीर को कपड़े पहना कर नंगी घूमो! best Idea💡 बताया है ऐसे तुम कितने पैसे save कर सकती हो! जब नंगी घूम रही होगी तो
read moreRakesh frnds4ever
White अ:- क्या हाल है !!?!!! मैं:- ,,,,,,,,,ठीक,,,, (हाल बेहाल हैं, सवाल ही सवाल है, जिंदगी भी जी का जंजाल है, बवाल ही बवाल हैं, शरीर केवल हाड़ मांस का कंकाल है....) ब:- क्या चल रहा है आज कल!!!??!! मैं:- ,,,,,,,कुछ नहीं,,,,, ((सब थम गया है, ये धरती ,अंबर ,पहाड़, हवाएं, नदी झरने ताल पोखर,,, ये शरीर , इसकी नलिकाएं, अवनालिकाएं, धमनियां, रक्त प्रवाह, हाड़ मांस गुर्दे दिल फेफड़े ,,,सब का सब___ जैसे जर गया है,,, दिल दिमाग मन चित सब _____जैसे जम गया है,,, ((घूटन में दम तोड़ती, तड़पती बस टूटी फूटी सांसे चल रही हैं....))) ©Rakesh frnds4ever #हाल_बेहाल अ:- #क्या हाल है!??!! मैं:- ,,,,,,,,,ठीक,,,, (हाल बेहाल हैं, सवाल ही सवाल है, #जिंदगी भी जी का #जंजाल है,बवाल ही बवाल हैं, शरी
#हाल_बेहाल अ:- #क्या हाल है!??!! मैं:- ,,,,,,,,,ठीक,,,, (हाल बेहाल हैं, सवाल ही सवाल है, #जिंदगी भी जी का #जंजाल है,बवाल ही बवाल हैं, शरी
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