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Modified SONI..
कमिया है हम में पता है हमे, तौहिन करने की बजाय सुधार न दो,, #nojoto #Amendment
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घूरता है तू हर कूचे की लड़की को जानती हूँ मैं तेरे जैसे छत्तिस को तोड़ा तूने जाने कितनी कलियों को जानती हूँ मैं तेरे जैसे छत्तिस को तेरे बदन में आग लगी है जिस्मानी जानती हूँ मैं तेरे जैसे छत्तिस को सूरत गोरी अंदर काले मन वाले जानती हूँ मैं तेरे जैसे छत्तिस को बहलाते हैं मीठी मीठी बातों से जानती हूँ मैं तेरे जैसे छत्तिस को अगर न मानी तो मुझको दोगे गाली जानती हूँ मैं तेरे जैसे छत्तिस को मैं प्यारी हूँ मक़सद पूरा होने तक जानती हूँ मैं तेरे जैसे छत्तिस को 22 22 22 22 22 2
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जाने कैसा तीर लगाए बैठा हूँ सीने इक तस्वीर लगाए बैठा हूँ सोच में उसकी हाँ होगी या ना होगी गर्दन पे शमशीर लगाए बैठा हूँ ख़्वाब में जब से आए हो तब से दिल की धड़कन से ताबीर लगाए बैठा हूँ जानता हूँ क्या हश्र हुआ था राँझे का फिर भी दिल से हीर लगाए बैठा हूँ छोड़ गया है मुझे अकेला जब से तू अँखियों से मैं नीर लगाए बैठा हूँ Behr- 22 22 22 22 22 2
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ख़्वाब नहीं वो आने दूँगा जिसमें तुमको जाने दूँगा बड़े दिनों के बाद मिले हो ऐसे कैसे जाने दूँगा सबको प्यार मुहब्बत वाले गली गली अफ़साने दूँगा तुमको इतनी आसानी से क्या लगता है जाने दूँगा बाद तुम्हारे इस जीवन में और न कोई आने दूँगा मुझको छोड़ के जाने वाला आया अगर तो ताने दूँगा चाहे अब जो भी हो जाए उसको अब न सताने दूँगा Behr- 22 22 22 22
Behr- 22 22 22 22
read moreAnupama Jha
*मन की मधुशाला* सुंदर शब्द स्वप्न दिखाती रोज़ मेरे लफ़्ज़ों की हाला मधुर ,मदिर मेरे ख़्यालों की मधुशाला और लिखे जा और रचे जा शोर मचाती मन की मधुर आकुलता लिखकर ही मिटती फिर ये मन की व्याकुलता । कोरे कागज पर जब शब्द बिखरते होती तसल्ली मद मस्त मनुष्य सी फिर लहरों ,छन्दों सी बहती मेरे मन के शब्द ,बन मेरी कविता। मधुशाला मैं ही अपनी मेरे शब्द ही मेरे हाला मैं ही अपनी शब्दों की साकी, मैं ही अपनी शब्दों की सहबाला... #मन #मधुशाला #yqdidi Old post with amendment
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दर्द मुहब्बत काँटे फूल तेरी दी हर चीज़ क़ुबूल तुझको इक दिन खोना है चुभता रहता है ये शूल तेरी याद के साए में रहता हूँ हर पल मशग़ूल काश तुम्हें मैं पा सकता काश दुआ होती ये कुबूल चाहूँ इस दुनिया से मैं प्यार हमारा हो मक़बूल तुझ में बस खोना चाहूँ दुनिया दारी सब कुछ भूल 22 22 22 2
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