Find the Latest Status about dr kumar vishvas shayri 0 from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos about, dr kumar vishvas shayri 0.
Khushi_ bhaliyan31
Gyanendra Kumar Pandey बेजुबान शायर shivkumar Kumar Shaurya abshik sharma Dr. uvsays #Love
read moreAndy Mann
White उन्हें यह फ़िक्र है हरदम, नयी तर्ज़-ए-ज़फ़ा क्या है? हमें यह शौक है देखें, सितम की इन्तहा क्या है? दहर से क्यों ख़फ़ा रहें, चर्ख का क्या ग़िला करें। सारा जहाँ अदू सही, आओ! मुक़ाबला करें॥ इन जोशीली पंक्तियों से उनके शौर्य का अनुमान लगाया जा सकता है। चन्द्रशेखर आजाद से पहली मुलाकात के समय जलती हुई मोमबती पर हाथ रखकर भगतसिंह ने कसम खायी थी कि उनकी जिन्दगी देश पर ही कुर्बान होगी और उन्होंने अपनी वह कसम पूरी कर दिखायी। 28 सितंबर को शहीद भगतसिंह का जन्मदिन है। आज के समय में उन्हें याद करने का हमारे लिए बहुत महत्व है। शहीद भगतसिंह की क़ुर्बानी, बहादुरी, और ख़ुशी-ख़ुशी फाँसी के तख़्ते पर झूल जाने के बारे में कमोबेश देश के ज़्यादातर लोग जानते हैं। “किसी ने सच ही कहा है, सुधार बूढ़े आदमी नहीं कर सकते । वे बहुत ही बुद्धिमान और समझदार होते हैं। सुधार तो होते हैं युवकों के परिश्रम, साहस, बलिदान और निष्ठा से, जिनको भयभीत होना आता ही नहीं और जो विचार कम और अनुभव अधिक करते हैं ।” - भगत सिंह - क्या आप कल्पना कर सकते हैं, एक हुकूमत, जिसका दुनिया के इतने बड़े हिस्से पर शासन था, जिसके बार में कहा जाता था कि उनके शासन में सूर्य कभी अस्त नहीं होता। इतनी ताकतवर हुकूमत, एक 23 साल के युवक से भयभीत हो गई थी। क्या थे भगत सिंह के आखिरी शब्द - फांसी के समय जो कुछ आधिकारिक लोग शामिल थे उनमें यूरोप के डिप्टी कमिशनर भी शामिल थे। जितेंदर सान्याल की लिखी किताब भगत सिंह के अनुसार ठीक फांसी पर चढऩे से पहले के वक्त भगत सिंह ने उनसे कहा, मिस्टर मजिस्ट्रेट आप बेहद भाग्यशाली हैं कि आपको यह देखने को मिल रहा है कि भारत के कांतिकारी किस तरह अपने आदर्शों के लिए फांसी पर भी झूल जाते हैं। मैं नास्तिक क्यों हूं - यह लेख भगत सिंह ने जेल में रहते हुए लिखा था और यह 27 सितम्बर 1931 को लाहौर के अखबार “ द पीपल “ में प्रकाशित हुआ । इस लेख में भगतसिंह ने ईश्वर कि उपस्थिति पर अनेक तर्कपूर्ण सवाल खड़े किये हैं और इस संसार के निर्माण , मनुष्य के जन्म , मनुष्य के मन में ईश्वर की कल्पना के साथ साथ संसार में मनुष्य की दीनता , उसके शोषण , दुनिया में व्याप्त अराजकता और और वर्गभेद की स्थितियों का भी विश्लेषण किया है । यह भगत सिंह के लेखन के सबसे चर्चित हिस्सों में रहा है। 🙏🏻💐🙏🏻 ©Andy Mann #भगत_सिंह Arshad Siddiqui Ravi Ranjan Kumar Kausik Dr. uvsays अदनासा- Neel
#भगत_सिंह Arshad Siddiqui Ravi Ranjan Kumar Kausik Dr. uvsays अदनासा- Neel #मोटिवेशनल
read moreAndy Mann
आईये आज हम जानेंगे कि सड़कों पर गड्ढे होने के फायदे हैं १. जीवन जीने में आसानी :- गड्ढे आपको ये बताते हैं कि जीवन की राह सीधी और सरल नहीं बल्कि इसमें कई गड्ढे हैं .... हमारी सरकार की नीतियों ने मध्यम वर्ग की राह में कई गड्ढे कर दिए हैं .... २. दुर्घटना से देर भली :- सीधी और सपाट सड़कों पर फर्राटे से गाड़ियाँ दौड़ती हैं , जिससे दुर्घटना का खतरा बना रहता है अतः ऐसे गड्ढों से आप दुर्घटना से बच जाते हैं। ३. गैस की समस्या से मुक्ति :- ऐसी गड्ढों वाली सड़कों पर चलने से आपका स्वास्थ्य अति उत्तम रहता है क्योंकि बीच - बीच में उचकना पड़ता है , झटके लगते हैं जिससे गैस शरीर के हर एक छिद्रों से निकलती है और स्वास्थ्य उत्तम रहता है। ४. चोरों और अन्य अपराधियों से से मुक्ति - ऐसी सड़कों पर कोई आपसे आपका सामान छीन कर तेजी से भाग नहीं सकता , चैन स्नेचिंग की घटनाओं में भारी गिरावट आई है। अपराधी आपको नुक्सान पहुँचा कर ज्यादा दूर तक जल्दी से भाग नहीं सकते। ५. आँखों की ज्योति का बढ़ना :- ऐसी सड़कों पर चलते समय आपको अपनी आँखें बराबर सड़क पर गढ़ाये रखनी पड़ती है , जिससे आँखों की ज्योति बढ़ती है। ६. खेल को प्रोत्साहन :- ओलिंपिक जैसे खेलों में बहुत सी बाधायें पार करनी पड़ती है , ऐसी सड़कों पर आप चलने का अभ्यास करते हैं तो अच्छे खिलाड़ी बन सकते हैं। अपने देश का , अपने परिवार का , अपने समाज का नाम रोशन कर सकते हैं। ७. गाड़ी की गुणवत्ता और क्वालिटी की टेस्टिंग :- आप जब कोई गाड़ी खरीदते हैं तो कंपनियां उसकी मजबूती के बहुत बड़े - बड़े वायदे करती है पर आपको प्रूफ करके नहीं दिखाती , ये सड़कें आपकी गाड़ी की टेस्टिंग फ्री में कर देती है। ८. गाड़ी के माईलेज में बढ़ोतरी :- आएं - बाएं गाड़ी चलाने से माईलेज गिरता है , कम स्पीड पर गाड़ी अधिक माईलेज देती है। ९. बहाने बनाने में आसानी :- ऐसी सड़कों पर कोई भी व्यक्ति तेजी से सरपट भाग नहीं सकता जिसके कारण उन्हें अपने ऑफिस जाने में देरी हो जाती है , इसलिये इस सरकारी योजना से आप अपने बॉस की डाँट , उनका गुस्सा झेलने से बच जाते हैं। १०. शारीरिक व्यायाम और मसाज :- इस प्रतिस्पर्धी और भागदौड़ भरी जिंदगी में आम इंसान के पास व्यायाम करने , मसाज करवाने की फुरसत नहीं होती पर ये सड़कें ना केवल आपके शरीर के हर एक अंग का व्यायाम करवा देती है बल्कि हजारों पैसों में होने वाला मसाज भी फ्री में कर देती है। बाकि आपको घबड़ाने की आवश्यकता नहीं है , साहेब ड्रोन से बराबर नजर बनाये हुए हैं ..... ©Andy Mann #गढ्ढे_सड़क_के Neel Dr. uvsays अदनासा- Rakesh Srivastava Ravi Ranjan Kumar Kausik
#गढ्ढे_सड़क_के Neel Dr. uvsays अदनासा- Rakesh Srivastava Ravi Ranjan Kumar Kausik #मोटिवेशनल
read morePriya Gour
White प्रेम रुपी सागर में कोई जितना उतरता है, धैर्य करना भी उतना अधिक सिखता हैं, यूहँ तो प्रेम में दूरी शूल बन चुभती हैं, पर सच्चे प्रेम में दूरियों में भी प्रेम बढ़ता हैं, जब भाव दोनों ओर प्रेममय हो विश्वास होता हैं, प्रेम रुपी सागर में जो जितना उतरता है, सच्चे हदय से किये प्रेम में प्रेम ही प्रेम मिलता हैं। ©Priya Gour ❤🌸 prem vishvas ka vishy h... #15Sept 11:01 #love_shayari
❤🌸 prem vishvas ka vishy h... #15Sept 11:01 #love_shayari #शायरी
read moreAndy Mann
White पहले जो थी मेहरबाँ हम सब की माँ अब वही धरती है बिकती दाम पर ©Andy Mann #खेत_धरती अदनासा- manshi writer Neel Ravi Ranjan Kumar Kausik Dr. uvsays
#खेत_धरती अदनासा- manshi writer Neel Ravi Ranjan Kumar Kausik Dr. uvsays #मोटिवेशनल
read morechetan parihar
White शिक्षक दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं (मां, पापा) बड़े भईया ©chetan parihar #teachers_day Dr. uvsays NISHU DUBEY Nitish Tiwary MR VIVEK KUMAR PANDEY
#teachers_day Dr. uvsays NISHU DUBEY Nitish Tiwary MR VIVEK KUMAR PANDEY #Love
read moreArjun Rawat पार्थ
#राधे_कृष्णा #भोलापार्वती Sethi Ji Dr. uvsays Ravi Ranjan Kumar Kausik NC Kshitija #वीडियो
read moreManisha Singh Raghuvanshi
White Thodi rui laga di maine..narm ho gya thoda bichhauna sa...🤗 iski maa ko kya pasand aayegi ye dakhlandaji🤔 ye so rha chain se ispe.. mila mere ❤️ ko bhi sukoon ©Manisha Singh Raghuvanshi #Mere bageeche ki bulbul #rishta vishvas ka # prem ka