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Palak Parmar
White सजना दूरी एनी भी न रखी की तू कोल आवे ते मैनू चाह न होवे ©Palak Parmar सजना दूरी एनी भी न रखी की तू कोल आवे ते मैनू चाह न होवे
सजना दूरी एनी भी न रखी की तू कोल आवे ते मैनू चाह न होवे
read moreGanesh Din Pal
White इंसान समय से पहले बूढ़ा हो जाए तो समझ लेना उसे अपनों ने और अपनी जिंदगी ने बहुत दुख दिए हैं, जब वह किसी के लिए रात दिन खटता है और फिर सुनने को मिलता है कि तुमने मेरे लिए किया ही क्या ? बस यही बातें उसे दिन-ब-दिन दीमक की तरह खाने लगती हैं। ©Ganesh Din Pal #इंसान बूढ़ा क्यों होता है
#इंसान बूढ़ा क्यों होता है
read moreनवनीत ठाकुर
क्यों ज़िंदगी में ऐसे फ़ैसले कर रखे हैं, क्यों इतने बंधन पाल रखे हैं। इतनी लानतें बर्दाश्त करते हैं हम, जो हमारी इज़्ज़त पर रोज़ हमला करती है। रोज़ जूता मारती है ज़िंदगी मुँह पर, फिर भी हम उसे ख़ामोशी से सहते जाते हैं। ©नवनीत ठाकुर #क्यों बंधन पाल रखें हैं
#क्यों बंधन पाल रखें हैं
read moreLakhan Rajput BJP
तेरे जैसा यार कहां ©Lakhan Rajput BJP 💕🔫लव शायरी 💕⚔️अब तेरे बिना तो दिल लगता ही नहीं यार ⚔️क्यों रूठे और इतना क्यों रूठे🗡️ हो यार ♥️
💕🔫लव शायरी 💕⚔️अब तेरे बिना तो दिल लगता ही नहीं यार ⚔️क्यों रूठे और इतना क्यों रूठे🗡️ हो यार ♥️
read moreSuhana safar
White एक वक्त के बाद सामने वाले को सब फीका-सा क्यों लगने लगता है किसी का साथ किसी की मुस्कुराहट चांद की चांदनी का बहुत खूबसूरत लगना एक ही इंसान में सब कुछ मिल जाना वह पहली बार मिलना बहुत सारी बातें करना दिल खोल कर रख देना वह अंदर ही अंदर खुश होना दिल के सारे दर्द किसी अपने को बता देना यह कहना कि तुम्हारे सिवा मेरा कोई नहीं है तुम हो तो मेरी हर खुशी है एक वक्त के बाद सामने वाले को सब फीका-सा क्यों लगने लगता है...…. ©Suhana safar आखिर क्यों... #justthought
आखिर क्यों... #justthought
read moreShiv Narayan Saxena
सफल हो या असफल हो , प्रयास कभी न विफल हो जो भागे छोड़ कर मेहनत , जय का अधिकारी क्यों हो ©Shiv Narayan Saxena जय का अधिकारी क्यों हो?
जय का अधिकारी क्यों हो?
read moreHarpinder Kaur
White आदमी का स्वभाव है आदमी को महज़ खिलौना समझना जिसे वो इस्तेमाल करता है महज़ दिल बहलाने को दिल बहला लेने के बाद उसका खिलौना महज़ रह जाता है एक आधा, टूटा, बिखरा, सा खिलौना फिर उस खिलौने में दिलचस्पी खत्म होने पर आदमी ढूँढता है फिर एक नया खिलौना पुन: उसे टूटा बिखरा और अधूरा छोड़ने के लिए कितना छिछलापन है आदमी का आदमी होना वो पूर्णतः इंसान क्यों नहीं होता क्यों महज़ रहता है वो आदमी...... ©Harpinder Kaur # आदमी.... इंसान क्यों नहीं होता?
# आदमी.... इंसान क्यों नहीं होता?
read morePagal shayer
White खुश है बो हमसे बात न करके... और एक हम है जो राते बिता देते है उसे याद करके.... ©Pagal shayer खुश है बो हमसे बात न करके....
खुश है बो हमसे बात न करके....
read morePankaj
White कि ओ प्यार करने लगे थे हमसे तो करना पड़ा मुझे ओ दूर जाने लगे थे हमसे तो बदलना पड़ा मुझे की उल्लू ही किया करते हैं एक तरफा प्यार अंधेरे से हम ओ परिंदा है सुबह होते ही संभाल लिया करते हैं ©Pankaj प्यार करने लगे थे हमसे
प्यार करने लगे थे हमसे
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