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Shivendra Gupta 'शिव'
Beautiful Moon Night देखो कैसे इस प्रकृति ने भी धरती सजाई है, मौसम बदला है हर तरफ घटाएं छाई हैं, देखो नई कोपल शाखाओं पर खिलखिला रही हैं, श्रष्टि भी सजी सजी हर तरफ दिखाई दे रही है, खेतों में नई फसल कैसे इठकालियां खा रही हैं, हर कोई दंडवत खड़ा है, क्योंकि देखो मां हमारी आराही हैं, हे शक्ति की देवी, समृद्धि सुख शांति की दायिनी, अपयश को दूर कर यश देने वाली मां भवानी, रोगों को हरने वाली देवी, सुख की देवी, देखो हमें आशीर्वाद देने आ रही हैं, देखो शेर पर होके सवार मां आ रही हैं, हे मातारानी हे जगतपालनी सब पर अपनी कृपा बनाए रखिए मां ❤️🙏 हर कोई हो सुखी यही कामना करते हैं, ना हमसे कभी हो किसी का बुरा, यही आप से प्रार्थना करते हैं🙏🙏 आप सभी पर मां की कृपा सदैव बनी रहे🥰🙏 नवरात्र और हिंदू नववर्ष की आप सभी को बहुत बहुत शुभकामनाए 🙏 #शिवेन्द्र नाथ गुप्ता 'शिव' ©Shivendra Gupta 'शिव' #beautifulmoon #कविता_शिव_की_कलम_से
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इन गमों के तूफानों ने कह दो जाके, ना कम होंगी मेरी ये मुस्कुराहटें, जितनी तेज होंगी ये हवाएं, उतनी तेज उठेंगी मुस्कुराहटों की ये लहरें... #शिवेन्द्र नाथ गुप्ता 'शिव' ©Shivendra Gupta 'शिव' #selflove #कविता_शिव_की_कलम_से
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ये आसमान और इसके नजारे, छुपे है देखो ना जाने कितने राज सारे, ये सुहाने रंग बिखेरता है बादलों से परे, जहां इसकी खूबसूरती इसकी दुनिया, एक सुहानी भिन्न आकर्षित है, जो है हर किसी की कल्पनाओं से परे, जहां बस है बादल सा पानी बदल सी जमीन, और खूबसूरत रंगों से भरा एक बादलों का आसमान... #शिवेन्द्र नाथ गुप्ता 'शिव' #कविता_शिव_की_कलम_से ©Shivendra Gupta 'शिव' #BehtaLamha
Shivendra Gupta 'शिव'
सुनो ये चांद तारे तोड़ के लाना मेरे बस का नहीं है, इंसान हूं धरती का कोई देवता नहीं मैं, हां तुम्हारी आंखे न नम होने दूंगा, ये वादा जरूर करता हूं मैं, अगर करोगी जिद चांद सा कुछ लाने की मुझसे, तो सजा के तुम्हे खड़ा कर सकता हूं बस मैं आईने के सामने.... #कविता_शिव_की_कलम_से #शिवेन्द्र नाथ गुप्ता 'शिव' ©Shivendra Gupta 'शिव' #Hum
Shivendra Gupta 'शिव'
झूठी शान के ये परिंदे ही सबसे ज्यादा फड़फड़ाते हैं, वरना तरक्की के बाज की उड़ान में कभी आवाज कहां होती है, बस जब मिलती है उसे मंजिल उसके हिसाब से, तो फिर दहशत उसकी खुद ब खुद होती है, और आसमान की वो खामिशियां बयां कर देती हैं, उसके किस्से जमाने भर में... #शिवेन्द्र नाथ गुप्ता 'शिव' ©Shivendra Gupta 'शिव'
Shivendra Gupta 'शिव'
#सही_गलत_का_फैसला सही गलत का फैसला निर्भर करता विवेक पर आपके, कभी करता है भ्रमित हमें ये, कभी होता कष्टदायी है ये, कुछ फैसले होते हैं दिलों की आवाज से, कुछ फैसले होते हैं मन की गहराई से, तो कुछ फैसले होते है दोनो के समन्वय से, कभी सही फैसला ले के भी दुख हमें ही मिलता है, तो कभी कुछ गलत फैसले कुछ पल का सुकून दे जाते हैं, कभी कभी कुछ किए फैसले गलत साबित हो जाते हैं, नहीं पता कब कौन सा फैसला क्या असर कर जाएगा, हमारे सकारात्मक रवैया कब बदल जाएगा, सब खेल है इन नजरों का इस दिल का इस दिमाग में चलती हलचल का, जो रहें ये काबू में अपने तो हर किया फैसला सही हो जाएगा, पर मुश्किल है बनाना समन्वय इनमें, कि न जाने किस बात से किस और मुड़ जाएगा, सब हम पर निर्भर करता है इस दिल मन को कैसे ले जाना है, कब किस बात का हमें फैसला किस हिसाब से करते जाना है, हमारा अनुभव हो हमको सकारात्मकता की और ले जाता है, और यही हमसे फैसले सारे कराता है, कभी वक्त हालात भी बदल जातें हैं, किसी फैसले को लेने से, तो कभी ये वक्त मजबूर कर जाता है, लेने को कठोर फैसले लेने को भी... #शिवेन्द्र नाथ गुप्ता 'शिव' ©Shivendra Gupta 'शिव' #alone
Shivendra Gupta 'शिव'
देखा है मैने अपनी खुशियों का, कत्ल करके जीते हुए धरती पे भगवान को, जो जीती थी हमेशा हम सबके लिए, हमारी खुशियों से जरूरी नही था कुछ जिनके लिए, कुछ इसी तरह बिताती थी वो, जिन्दगी अपनी हमारे ही लिए, आज भी जब भी कभी होती है खुशियों की बातें, भर आती हैं मेरी हर बार ये आंखे, और आती बहुत याद बस मां आपकी, नहीं मिलती है अब वो गोद सोने के लिए, जिसपे सर रख कर दुनिया की हर खुशी मिलती थी, जहां से ज्यादा सुकून की प्राप्ति कहीं न होती थी, तेरे साथ गुजारा है पल हर वक्त, ही तो मेरे जीने का, मेरी हिम्मत का सहारा है, तुम्हे अब कैसे बताएं मां तुम्हारे जाने के बाद, तुम्हारी बस सारी यादों का हर हिस्सा ही मेरे जीवन की किस्सा है मां, तुम्हारी ही सिखाई हर बात से अब गुजरता जीवन है मां, आज भी लगता है जैसे एक दिन दोगी मुझे आवाज मां...😒 देखो दूर गए तुम्हे हो गए आज पूरे 12 साल मां, फिर भी आवाज गूंजती में तुम्हारी मेरे जहन में मां....🥺 #शिवेन्द्र नाथ गुप्ता 'शिव' ©Shivendra Gupta 'शिव' #मां #मां_की_याद
Shivendra Gupta 'शिव'
#तेरा_मैसेज तेरा एक मैसेज मेरे चेहरे पे मुस्कान ला जाता है, जहां भी हूं जैसा भी हूं वो एक मैसेज, मुझे एहसास करा जाता है, कि अकेला नहीं हूं मैं, है कोई मेरे पास भी मुझे समझने वाला, अकसर जब परेशान होता हूं, ना जाने कहां से आ जाता है तेरा मैसेज, जाने कैसे तुझे ये पता चल जाता है, तेरा सुबह का वो मॉर्निंग न आए तो, दिनभर बेचैन सा रहता हूं मैं, कि सब सही तो है तुझे कोई दिक्कत तो नहीं, भले बातें न हो हमारी महीनों तक कॉल मैसेज से, पर सुबह का एक मैसेज सारे हाल बता जाता है, ये रिश्ता हमारा दोस्ती का जो जुड़ा है सालों से, इसे हर किसी का समझ पाना मुमकिन नहीं, और इस रिश्ते को किसी को मैं समझाना चाहता नहीं, बस ऐसे ही लड़ते हंसते हम दोनो रहे हमेशा, इससे अच्छा मेरे लिए कोई उपहार नहीं... #शिवेन्द्र नाथ गुप्ता 'शिव' ©Shivendra Gupta 'शिव' #phonecall
Shivendra Gupta 'शिव'
#नफरत ये नफरत की आग है जनाब बर्बाद कर जाती है, ना जाने कितने रिश्तों को जज्बातों को अरमानों को, ना जाने कितने लोगों को विश्वास को सबको जला जाती है, ये जिसके अंदर भी जल जाती है एक बार, फिर उसका सब कुछ खत्म कर जाती है, ये नही बुझती बर्बाद करे बिना किसी को, ये नफरत की आग बहुत तेजी से फैलती है, ये ऐसी आग है जिसमें धुएं नही उठा करते, बस जलन सी अंतर्मन में बनी रहती है, ये दिखती भी है बहुत कम लोगो के चेहरे पे, अक्सर मुस्कान की चादर ओढ़े रहती है, किसी को किसी की कामयाबी से जलन होती है, किसी को किसी की शख्सियत से जलन होती है, किसी को किसी के दुख से जलन होती है, तो किसी को किसी के सुख से जलन होती है, जहां जहां ये जलन होती है, वहां वहां नफरत की आग की चिंगारी होती है, हर साथ रहने वाला हर अपना कहने वाला,अपना होता नहीं है, यहां हर किसी को हर किसी से, किसी न किसी बात की नफरत होती है... #शिवेन्द्र नाथ गुप्ता 'शिव' ©Shivendra Gupta 'शिव' #Fire
Shivendra Gupta 'शिव'
ये समय का पहिया है, जो किसी के लिए रुकता नहीं, ये निरंतर चलता ही रहता है, अपने गर्भ में छुपाए है न जाने कितने राज, देखे हैं इसने लाखों युगांतर, श्रृष्टि को बनते और उसको बिगड़ते, ये समय का पहिया सब कुछ दिखाता है, अगर आज दुख है तो कल खुशी भी दिखाता है, बड़ों बड़ों के घमंड को इसने पल में मिटाया है, जिसने जैसा किया उसे इसने वैसा ही लौटाया है, इससे बच पाना मुमकिन नहीं है किसी के लिए भी, चाहें फिर लिया अवतार भगवान ने ही क्यों न हो, सब कुछ चलता है श्रष्टि में इसी के अनुसार, हर किसी को मिलता है सब कुछ, बस इसी समय के अनुसार, ना इससे पहले कोई कुछ पा सकता है, ना ही इससे बदला जा सकता है, बस चलता है अपनी रफ्तार से, और मौके देता है सबको ये एक बार... #शिवेन्द्र नाथ गुप्ता 'शिव' #कविता_शिव_की_कलम_से ©Shivendra Gupta 'शिव' #समय_का_पहिया #कविता_शिव_की_कलम_से
#समय_का_पहिया #कविता_शिव_की_कलम_से
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