Nojoto: Largest Storytelling Platform

Best competitionwriting Shayari, Status, Quotes, Stories

Find the Best competitionwriting Shayari, Status, Quotes from top creators only on Gokahani App. Also find trending photos & videos aboutlove compatibility test, anchoring script for poetry competition in hindi, hindi shayari for dance competition, poem in hindi for competition, hindi poem recitation competition for class 2,

  • 6 Followers
  • 20 Stories

xyz

तेरा ये मासूम चेहरा🌻 #kavyamela #competitionwriting #innocent love poetry #तेरा_चेहरा

read more
तेरा ये मासूम चेहरा उस पर छाया ग़ज़ब का नूर,
देखकर तेरी ये मुस्कान, हो जाए वो चाँद भी बेनूर।

एक तेज़ है तेरी आँखों में; चमक रही हो जैसे बिजली,
तेरी एक नज़र से हो जाएं आशिक़ों के दिल चकनाचूर।

दिल की बात ज़ुबां पर लाकर; कर भी दो अब इज़हार,
कितना सताओगी अपने इस आशिक़ को ऐ मेरे हुज़ूर।

तुझे पलकों पर बिठाकर रखूँगा; दूँगा सारी खुशियाँ,
बदल कर रख दूँगा मैं दुनिया के सारे के सारे दस्तूर। तेरा ये मासूम चेहरा🌻

#kavyamela
#competitionwriting
#innocent
#love
#poetry
#तेरा_चेहरा

Insprational Qoute

एक बार कैप्शन अवश्य पढ़ें. #काव्य_मेला #competitionwriting साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता (प्रतियोगिता-6)

read more

गूँज उठी खुशी की लहर अँगना में,जब पहली बार बिटिया की पुकार सुनी,
देख ज़माने के रंग ढंग बैठ जाता पिता का दिल,मां ने न जाने क्या सोच बुनी,

पिता ने ठाना पढ़ा लिखा अफसर बना दूँगा,कभी न किसी के आगे झुकने दूँगा,
चलो एक अभियान चलाए,दहेज प्रथा का अंत कराये, किसी को न दहेज दूँगा,

समय परिवर्तनशील,देता जमाना मिशाल हैं,मैं दहेज पर कुठाराघात करूँगा,
नाज़ो से पली बिटिया मेरी बिन दहेज़ मान सम्मान से आज विदाई करूँगा,

छुपे बैठे सफेदपोशों की आड़ में दहेज लेनदारों का आज पर्दाफ़ाश करूँगा,
शिक्षित लाडलो को करो कभी न किसी की आस में जीना अभियान चलाऊंगा,

करते जो अत्याचार चंद पैसों के लिए,जिन्दा जला देते हैं ममत्व की मूरत को,
होगा न ये बर्दाश्त मुझसे मैं अंतिम सांस तक न्याय की मूर्ति के आगे ले जाऊंगा,

सुनता हूँ जब भी वो निर्दोष सी चीख तो कलेजा मेरी अंतरात्मा को धिक्कारता हैं,
कर बुलंद आवाज़ सर सरेआम उन दहेज के लेनदारों को कैसे समाज मे जीता हैं,

ठान मन मे एक रीत नई चलाऊंगा, हैं कोई दहेज़ दानव तो उनकी होली जलाऊंगा,
हर बेटी,हर बहु, हर कन्याओं को,मत सहन करना न दबना यहीं फरमान फैलाऊंगा। एक बार कैप्शन अवश्य पढ़ें.
#काव्य_मेला
#competitionwriting

साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता  (प्रतियोगिता-6)

Insprational Qoute

एक बार कैप्शन अवश्य पढ़ें. #kavyamela #competitionwriting साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता (प्रतियोगिता-5)

read more
ये नार रहती परेशान,अपनी सुंदरता पर करती बड़ा अभिमान,
करती रोज पिया जी क़ी जेब खाली,रचती हैं बड़े बड़े अभियान,
पत्नियों के रोज के नाटक से बेचारे पति हो जाते रोज परेशान,
लगा मस्का पति को करती ख्वाहिश पूरी,कहती तुम मेरे भगवान,

रोज साड़ियों की लगाती दुकान,आज शॉपिंग, कल पार्लर जाना,
कहिं थोड़ी सी भी मोटी न हो जाऊं,बार बार दर्पण की निहारना,
रोज सन्डे को किटी पार्टी हैं होती,काम न करना अच्छा है बहाना,
नटखट सी चुलबुली पति की ये रानी,बस पति को ही हैं सताना,

कुछ भी हो नाटकबाजी में ये सबकी नानी हैं यही घर की महारानी हैं
मत सताना कभी इनका दिल,यही तो मां लक्ष्मी स्वरूप पटरानी हैं,
अपने हिस्से का भी दे देती हैं, ये दिल की बड़ी रुहानी मस्तानी हैं,
सब पति की जान है होती,नटखट होती बच्चों सी इनकी शैतानी हैं,

नखरे इनके हीरोइन को भी फेल करे,खुद को विश्व सुंदरी बताती हैं,
लगा महँगे क्रीम पाउडर बेचारे गंजे पति के सामने बड़ी इतराती हैं,
कहती तू बुड्डा मैं जवान नार, कर नोकझोंक बड़ा ही सताती हैं।
 एक बार कैप्शन अवश्य पढ़ें.

#kavyamela
#competitionwriting

साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता  (प्रतियोगिता-5)

Insprational Qoute

एक बार कैप्शन अवश्य पढ़ें. #kavyamela #competitionwriting साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता (प्रतियोगीता-4)

read more

शब ए महताब की भांति चमक उठता हैं तेरा मायूस चेहरा,
बन दीवाना दिल तेरी गिरफ्त हो जाता है चाहे हो कड़ा पहरा,

इतनी सादगी मानो ख़ुदा ने बड़ी ही फुर्सत में बैठ  बनाया हो,
न हार न किया सोलह श्रृंगार ,बस आँखों मे है काजल गहरा,

देख तबियत ठीक हो जाती है, नीला समुद्र भी हो जाता हरा,
अप्सरा ए आफरीन लगती हो रंग रूप भी है इतना सुनहरा,

नजर जो झुकी तो मानो पूरी की पूरी कायनात ही शर्मा जाये,
तुम पर ही दिल हारे हैं तो तुम्हें छोड़कर अब बता कहाँ जाए 

देख ये मासूमियत कर न जाये कोई फ़क़त ही सियासत,
मन को तो मना हम लेते हैं, पर दिल करता तेरी हिमायत।


 एक बार कैप्शन अवश्य पढ़ें.

#kavyamela
#competitionwriting

साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता  (प्रतियोगीता-4)

Insprational Qoute

एक बार कैप्शन अवश्य पढ़ें। #competitionwriting #yqbaba #yqdidi छोटी क्रांतिकारी👻 साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता ••••••••••••••••••••••••••• ✌️*आज आपको हमारे पापा क्यों नहीं रोते है पर collab कर अपनी एक रचना लिखनी हैं और collab कर comment box में Task completed लिखना हैं।

read more
होती जिनके होने से मेरी पहचान है,हाँ मेरे पापा मेरा अभिमान हैं,
हजारों मुश्किलों से न घबराते,दिखाते न कभी सिकन का निशान हैं,

गंवा निज चैन खुशियाँ देते हैं,कभी भी विकलावस्था में न धैर्य खोते है,
हालात कैसे भी हो रखते मुस्कान मुख पर,गम का एहसास न होने देते हैं,

पापा क्यो न रोते हैं?यह मन मे उठा प्रश्न लगता निस्सार सा बेबुनियाद है,
मेरा वजूद हैं पापा वो मेरी हर दुआ में शामिल आप ही मेरी हर फ़रियाद हैं,

पिता की  छत्रछाया में फूलों की तरह महकता सारा परिवार है,
माँ ममत्व की मूरत तो पिता ही संसार का खूबसूरत  आधार हैं।

 एक बार कैप्शन अवश्य पढ़ें।
#competitionwriting
#yqbaba
#yqdidi
छोटी क्रांतिकारी👻

साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता •••••••••••••••••••••••••••
✌️*आज आपको हमारे पापा क्यों नहीं रोते है पर collab कर अपनी एक रचना लिखनी हैं और collab कर comment box में Task completed लिखना हैं।

A J

एक बार कैप्शन अवश्य पढ़ें। #competitionwriting #yqbaba #yqdidi छोटी क्रांतिकारी👻 साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता ••••••••••••••••••••••••••• ✌️*आज आपको नारी शक्ति पर collab कर अपनी एक रचना लिखनी हैं और collab कर comment box में Task completed लिखना हैं।

read more
मेरे  पापा  सुपरहीरो  
ये  सपना  तोड़  सके  
इतने  तगड़े  नही  होते 
इसिलिए हमारे पापा 
कभी  नही  रोते  एक बार कैप्शन अवश्य पढ़ें।
#competitionwriting
#yqbaba
#yqdidi
छोटी क्रांतिकारी👻

साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता •••••••••••••••••••••••••••
✌️*आज आपको नारी शक्ति पर collab कर अपनी एक रचना लिखनी हैं और collab कर comment box में Task completed लिखना हैं।

A J

एक बार कैप्शन अवश्य पढ़ें। #competitionwriting #yqbaba #yqdidi छोटी क्रांतिकारी👻 साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता ••••••••••••••••••••••••••• ✌️*आज आपको नारी शक्ति पर collab कर अपनी एक रचना लिखनी हैं और collab कर comment box में Task completed लिखना हैं।

read more
शक्कर  की  गुड़िया  पिघल  ना  जाए  
इसलिये पानी  में  नही  भिगोते  
कोई  भी  हो  बात  पापा  
बेटियों  के  आगे  नही  रोते एक बार कैप्शन अवश्य पढ़ें।
#competitionwriting
#yqbaba
#yqdidi
छोटी क्रांतिकारी👻

साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता •••••••••••••••••••••••••••
✌️*आज आपको नारी शक्ति पर collab कर अपनी एक रचना लिखनी हैं और collab कर comment box में Task completed लिखना हैं।

A J

Caption पढे। #competitionwriting #yqhindi #yqdidihindipoetry साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता ••••••••••••••••••••••••••• आज आपको "नेताजी के झूठे बोल" पर collab कर अपनी एक रचना लिखनी हैं और अपनी रचना लिखने के पश्चात comment box में Task completed लिखना हैं। ✌* रचना कम-से-कम 4 पंक्तियों में होनी चाहिए।

read more
अब  नेताओ  ने  लेना  शुरु  
कर  दिया सच  का  सहारा 
सब  कहे उसके झूठ  के आगे
कुछ भी  नही  झूठ  हमारा  Caption पढे। #competitionwriting 
#yqhindi 
#yqdidihindipoetry 

         साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता
         •••••••••••••••••••••••••••
आज आपको "नेताजी के झूठे बोल" पर collab कर अपनी एक रचना लिखनी हैं और अपनी रचना लिखने के पश्चात comment box में Task completed लिखना हैं। 
✌* रचना कम-से-कम 4 पंक्तियों में होनी चाहिए।

DR. SANJU TRIPATHI

एक बार कैप्शन अवश्य पढ़ें. #काव्य_मेला #competitionwriting साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता (प्रतियोगिता-8)

read more
द्रौपदी संग अन्याय की कहानी सबने महाभारत के रूप में जानी।
क्या कहें, कैसे बताएं जो बीती थी द्रौपदी पर उसको कैसे सुनाएं।

ब्याह हुआ था अर्जुन के संग सपने देखे थे खुशहाल जीवन के,
मां ने आपस में बांटने को कह पांच पांडवों की पत्नी बना दिया।

था अन्याय मगर चुपचाप सह गई मां की आज्ञा शिरोधार्य कर गई।
महलों में आई रानी बनकर पर शकुनी और दुर्योधन को ना भाई।

दुर्योधन ने छल से द्यूत क्रीड़ा  रचायी, राजा धृतराष्ट्र से सूचना भिजवाई।
युधिष्ठिर ने द्यूत क्रीड़ा में सब कुछ गंवाया द्रौपदी को दांव पर लगाया।

भरी सभा में दु:शासन द्रौपदी को खींचता हुआ केशों से पकड़ कर लाया।
मर्यादा को तार-तार किया सभा में किसी ने भी ना था उसको बचाया।

सभी ने द्रौपदी के साथ अन्याय किया न किसी ने अपना फर्ज निभाया।
रोती बिलखती रही बेचारी कृष्ण ने आकर उसकी लाज को बचाया।

 एक बार कैप्शन अवश्य पढ़ें.
#काव्य_मेला
#competitionwriting

साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता  (प्रतियोगिता-8)

DR. SANJU TRIPATHI

एक बार कैप्शन अवश्य पढ़ें. #काव्य_मेला #competitionwriting साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता (प्रतियोगिता-6)

read more



बचपन के वे दिन याद आते हैं तो मेरा मन फिर बच्चे जैसा ही बन जाता है। 
याद करता है वह शैतानियां, वह नादानियां फिर उसी में खोकर रह जाता है।

बारिश में भीग कर नहाना, वह मां-पापा की डांट खाना बड़ा ही याद आता है।
दादी-नानी से किस्से-कहानियां सुनना, वो करना अठखेलियां अब भी भाता है।

खेलने-कूदने के लिए,पढ़ाई से जी चुराना,वो बहाने बनाकर घूमना याद आता है।
स्कूल ना जाने को पेट दर्द का बहाना बनाना, फिर समोसे खाना याद आता है।

क्लास से बाहर बैठने के लिए होमवर्क ना करके ले जाना बैठ कर गप्पे लड़ाना,
दोस्तों की टोली संग मौज-मस्ती करना समय बिताना, सताता है गुजरा जमाना।

भेदभाव रीति-रिवाजों से अलग, अपनी छोटी सी दुनियां में खोये रहना सुहाता था।
चेहरे पर मासूमियत थी, दिल में ना कोई बैर था, बस केवल दोस्ती निभाना आता था।

-"Ek Soch"
 एक बार कैप्शन अवश्य पढ़ें.
#काव्य_मेला
#competitionwriting

साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता  (प्रतियोगिता-6)
loader
Home
Explore
Events
Notification
Profile