Nojoto: Largest Storytelling Platform

Best बैठते Shayari, Status, Quotes, Stories

Find the Best बैठते Shayari, Status, Quotes from top creators only on Gokahani App. Also find trending photos & videos aboutबैठते in hindi, उठते बैठते चक्कर आना,

  • 13 Followers
  • 113 Stories

Bh@Wn@ Sh@Rm@

#बैठते है साथ मै ! Da"Divya Tyagi" ✍️Rehan smz sanjay singh Bhadouria Satyaprem "अब्र" 2.0

read more
आ जिन्दगी बैठते है कुछ पल साथ मै
अपने बिताये पल याद करते है साथ मै
दिल, आसूं, तड़प रखते है पास मै
पड़ते है पिछ्ले कुछ पल को साथ मै!!

©Bh@Wn@ Sh@Rm@ #बैठते है साथ मै ! Da"Divya Tyagi" ✍️Rehan smz sanjay singh Bhadouria  Satyaprem "अब्र" 2.0

Saket Ranjan Shukla

सुप्रभात। हम मान बैठते हैं कि हमने दुनिया देख ली है। लेकिन सच तो ये है कि हम अपने पहले मुश्किल पड़ाव से ही डर कर मान बैठते हैं कि हमने दुनियां देख ली। #देखनेकोबहुत #my_pen_my_strength #Motivation #deeep_writes #wordswag #wordsofwisdom #inspirationalquotes #writeaway #Thoughts #Poetry #writersofinstagram #writersofig #writersofindia #igwriters #igwritersclub

read more
 सुप्रभात।
हम मान बैठते हैं कि हमने दुनिया देख ली है। लेकिन सच तो ये है कि हम अपने पहले मुश्किल पड़ाव से ही डर कर मान बैठते हैं कि हमने दुनियां देख ली।
#देखनेकोबहुत #my_pen_my_strength #motivation #deeep_writes
 #wordswag #wordsofwisdom #inspirationalquotes #writeaway #thoughts #poetry 
 #writersofinstagram #writersofig #writersofindia #igwriters #igwritersclub

Mahesh Pal

सोच कितनी छोटी हैं

read more
लोग मेट्रो में पूरे पैसे देखकर बैठते और बड़े ही खुश होते 
और जब रिक्सा में बैठते हैं तो फिर न जाने क्यों मोल भाव करते हैं,  जबकि  रिक्सा खून से चलता और मेट्रो बिजली से। सोच कितनी छोटी हैं

Gagan Dixit

Sachika Gupta Ganesh Murthy Sanjay Kumar Sakshi Sachan Sandeep Singh

read more
कुछ खास थे तो कुछ दिल के पास थे
खाली कोई नही सब अपने हाथ मे ग्लास लिये बैठे थे ।
क्यों न बैठते महफ़िल भी तो गम मिटाने की लगी थी
सब अपनी अपनी कहानिया सुना रहे थे हम शांत हो कर 
कही अपने कही उसके नाम पर दो-दो जाम लगा रहे थे।
नशे में चूर आग के धुएं मैं उसको देख रहे थे।
क्यों न बैठते महफ़िल भी तो गम मिटाने की लगी थी
जाम के नाम पर आख़िर शर्त भी उसको को भुलाने की जो लगी थी। Sachika Gupta Ganesh Murthy Sanjay Kumar Sakshi Sachan Sandeep Singh

Kamlesh Choudhary

read more
*जनता जिसे चुनती है वो ' संसद ' में बैठते है* 
*और* 
*भगवान जिसे चुनते है वो " सत्संग " मे बैठते है*।


*हमें तो ना जनता ने चुना है ना भगवान ने* ,
*सो* 
 *Whatsapp पे ही बैठे है* ।
😜😜😜😜

Singer SATISH THAKUR SAHIL

#शहर# @साहिल@

read more
शहर चंद शायर हैं जो इस शहर में मिल बैठते हैं,

वर्ना लोगों में वो नफ़रत है कि दिल बैठते है ।। #शहर# @साहिल@

Anil Siwach

|| श्री हरि: || सांस्कृतिक कहानियां - 11 ।।श्री हरिः।। 3 - दाता की जय हो! कुएँ पर रखा पत्थर पानी खींचने की रस्सी से बराबर रगड़ता रहता है और उस पर लकीरें पड़ जाती हैं; इसी प्रकार कोई एक ही शब्द बराबर रटा करे तो उसकी जीभ पर या मस्तिष्क पर कोई विशेष लकीर पड़ती है या नहीं, यह बताना तो शरीरशास्त्र के विद्वान का काम है। मैं तो इतना जानता हूँ कि जहाँ वह नित्य बैठा करता था, वहाँ का पत्थर कुछ चिकना हो गया है। श्रीबांकेबिहारीजी के मन्दिर के बाहर कोने वाली सँकरी सीढी के ऊपर वह बैठता था और एक ही रट थी उस

read more
|| श्री हरि: || सांस्कृतिक कहानियां - 11

।।श्री हरिः।।
3 - दाता की जय हो!

कुएँ पर रखा पत्थर पानी खींचने की रस्सी से बराबर रगड़ता रहता है और उस पर लकीरें  पड़ जाती हैं; इसी प्रकार कोई एक ही शब्द बराबर रटा करे तो उसकी जीभ पर या मस्तिष्क पर कोई विशेष लकीर पड़ती है या नहीं, यह बताना तो शरीरशास्त्र के विद्वान का काम है। मैं तो इतना जानता हूँ कि जहाँ वह नित्य बैठा करता था, वहाँ का पत्थर कुछ चिकना हो गया है। श्रीबांकेबिहारीजी के मन्दिर के बाहर कोने वाली सँकरी सीढी के ऊपर वह बैठता था और एक ही रट थी उस

Anil Siwach

|| श्री हरि: || सांस्कृतिक कहानियां - 11 ।।श्री हरिः।। 2 - भगवान की पूजा एक साधारण कृषक है रामदास। जब शुक्र तारा क्षितिज पर ऊपर उठता है, वह अपने बैलों को खली-भूसा देने उठ पड़ता है। हल यदि सूर्य निकलने से पहले खेत पर न पहुँच जाय तो किसान खेती कर चुका। दोपहर ढल जाने पर वह खेत से घर लौट पाता है। बीच में थोड़े-से भुने जौ या चने और एक लोटा गुड़ का शर्बत - यही उसका जलपान है। जाड़े के दिन सबसे अच्छे होते हैं। उन दिनों जलपान में हरी मटर उबाल कर नमक डाल कर घर से आ जाती है खेतपर और गन्ने का ताजा रस आ जा

read more
|| श्री हरि: || सांस्कृतिक कहानियां - 11

।।श्री हरिः।।
2 - भगवान की पूजा


एक साधारण कृषक है रामदास। जब शुक्र तारा क्षितिज पर ऊपर उठता है, वह अपने बैलों को खली-भूसा देने उठ पड़ता है। हल यदि सूर्य निकलने से पहले खेत पर न पहुँच जाय तो किसान खेती कर चुका। दोपहर ढल जाने पर वह खेत से घर लौट पाता है। बीच में थोड़े-से भुने जौ या चने और एक लोटा गुड़ का शर्बत - यही उसका जलपान है। जाड़े के दिन सबसे अच्छे होते हैं। उन दिनों जलपान में हरी मटर उबाल कर नमक डाल कर घर से आ जाती है खेतपर और गन्ने का ताजा रस आ जा

Ashish 9917374450

दिल

read more
सहूलियत के लिए कुछ भी कर बैठते हैं लोग

कभी कभी तो दिल लगा बैठते हैं दिल

Anil Siwach

|| श्री हरि: || सांस्कृतिक कहानियां - 10 ।।श्री हरिः।। 15 - तामस त्याग नियतस्य तु संन्यास: कर्मणो नोपपद्यते। मोहात्तस्य परित्यागस्तामस: परिकीर्तितः।। (गीता 18।7)

read more
|| श्री हरि: || सांस्कृतिक कहानियां - 10

।।श्री हरिः।।
15 - तामस त्याग

नियतस्य तु संन्यास: कर्मणो नोपपद्यते।
मोहात्तस्य परित्यागस्तामस: परिकीर्तितः।।
(गीता 18।7)
loader
Home
Explore
Events
Notification
Profile